बागपत : मन्नत पूरी हुई तो मां-बाप ने अपने बेटे को ही मंदिर में दे दिया दान, अब होगा गद्दी का वारिस
Uttar Pradesh News : उत्तर प्रदेश के किशनपुर से एक हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है. यहां माता-पिता ने खुशी-खुशी अपने 9 माह के बच्चे को मंदिर में दान कर दिया.
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Uttar Pradesh News : उत्तर प्रदेश के किशनपुर से एक हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है. यहां माता-पिता ने खुशी-खुशी अपने 9 माह के बच्चे को मंदिर में दान कर दिया. मंदिर में दान करने के बाद माता-पिता काफी खुश हैं और अपने आप को भाग्यशाली बता रहे हैं. आपको बता दें कि यह घटना बागपत के किशनपुर के बराल की है.
क्या है पूरा मामला
उत्तर प्रदेश के किशनपुर के बराल में एक माता-पिता ने अपने 9 माह के बच्चे को बाबा महावीर गिर मंदिर में दान कर दिया. इसकी वजह किशनपुर बराल स्थित रामताल में बाबा महावीर गिर गोपाल गिर मंदिर के महंत प्रयागराज गिर ने बताया कि, 'कंडेरा की रहने वाली मनीक्षी देवी ने मंदिर में मनोकामना मांगी थी. मनोकामना के पूरे हो जाने के बाद उन्होंने अपने 9 माह के पोते को मंदिर को दान कर दिया है.' मनीक्षी देवी ने मनोकामना मांगी थी कि, अगर पोता हुआ तो वह उसे मंदिर में सेवा करने के लिए दान कर देंगी. जिसके बाद से उन्होंने ऐसा ही किया.
मंदिर के गद्दी का होगा वारिस
आपको बता दें कि मनीक्षी देवी ने अपने पोते को धूने पर रखकर दान दिया, इसके साथ ही इस रस्म को पूरा करने और बच्चे का नामकरण करने के लिए मंदिर में भंडारे का आयोजन भी किया गया. जिसके बाद से महंत प्रयागराज गिर ने बालक का नामकरण किया और सका नाम रामगोपाल गिर रख दिया. साथ ही उन्होंने कहा कि अब इस बालक को बाबा रामगोपाल गिर नाम से बुलाया जाएगा. महंत ने बच्चे की सेवा की जिम्मेदारी उसके माता-पिता को दी. उन्होंने कहा कि बच्चा जब तक दो साल नहीं हो जाता या जब तक दूध पान करेगा तब तक वह अपने माता-पिता के पास ही रहेगा. बच्चे के दो साल पूर्ण होने पर यह बालक मंदिर में आ जाएगा.
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इस घटना को लोग आस्था से जोड़कर देख रहे है. बता दें कि कई सालो से इस मंदिर के गद्दी का कोई वारिस नहीं मिल रहा था. वही जब उस बच्चे के माता-पिता से यह पूछा गया कि क्या आपको इससे कोई समस्या नहीं तो इस घटना पर उनका कहना है कि, हमें कोई ऐतराज नहीं है. हम अपने आप को भाग्यशाली समझते हैं.
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