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गाय का गोबर 5-10 रुपये प्रति किलो... सपना ने बताया यूपी में कैसे Cow dung paint से हो रही कमाई

यूपी तक

यूपी इंटरनेशनल ट्रेड शो 3.0 में सपना ने गाय के गोबर से बने पर्यावरण अनुकूल पेंट से कमाई की सक्सेस स्टोरी साझा की. अब गोबर की कीमत 5-10 रुपये/किलो तक पहुंच गई है और प्रदेश में 300 से अधिक यूनिट्स से करीब 4 लाख लोगों को रोजगार मिला है.

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ग्रेटर नोएडा के इंडिया एक्स्पो सेंटर में इस वक्त यूपी इंटरनेश्नल ट्रेड शो 3.0 चल रहा है. 25 सितंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसका उद्घाटन किया था. ट्रेड शो में इस बार 80 देशों के 550 से अधिक खरीदार और 2225 एग्जीबिटर्स हिस्सा ले रहे हैं. यूपी अपने 77 जीआई टैग उत्पादों और 'वन डिस्ट्रिक्ट, वन प्रोडक्ट' जैसी योजनाओं के जरिए देश का पहला राज्य है, जिसने स्थानीय उद्यमों को अंतरराष्ट्रीय मंच दिया है. यह ट्रेड शो 29 सितंबर तक चलेगा. रूस पार्टनर देश के रूप में हिस्सा ले रहा है. अनुमान है कि इस बार ट्रेड शो में 5 हजार करोड़ का व्यापार होगा.  ट्रेड शो में यूपी के 40 जिलों के उत्पाद ग्लोबल प्लेटफॉर्म पर प्रदर्शित किए जा रहे हैं. यहां 2400 से ज्यादा स्टॉल लगाए गए हैं. इसी ट्रेड शो में आईं सपना ने यूपी में गाय के गोबर से तैयार पेंट से होने वाली कमाई की सक्सेस स्टोरी साझा की है. 

इस सक्सेस स्टोरी को यहां नीचे देखा जा सकता है

इंडिया एक्सपो में यूपी की सपना ने गाय के गोबर से बनाए जा रहे प्राकृतिक पेंट की जानकारी साझा की. उन्होंने बताया कि लगभग चार साल पहले केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी द्वारा इस पहल की शुरुआत की गई थी. इसने गाय के गोबर की अहमियत को बढ़ा दिया. पहले जहां गोबर को दो रुपए डेढ़ पैसे किलो के हिसाब से बेचना भी मुश्किल होता था, वहीं अब इसकी कीमत 5 से 10 रुपए प्रति किलो तक पहुंच गई है. सपना ने बताया कि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस क्रांतिकारी कदम को बड़े पैमाने पर अपनाया है. इसके चलते आज प्रदेश में 300 से अधिक पेंट निर्माण इकाइयां स्थापित हो चुकी हैं और करीब चार लाख से अधिक लोग इससे रोजगार कमा रहे हैं.

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गाय के गोबर से बनने वाले इस पेंट की विशेषता यह है कि यह पर्यावरण के अनुकूल होने के साथ-साथ दीर्घकालिक स्थायित्व प्रदान करता है, जिससे यह पारंपरिक रासायनिक पेंटों की तुलना में बेहतर विकल्प बन गया है. इस पहल से न केवल पर्यावरण संरक्षण को बढ़ावा मिल रहा है, बल्कि कई स्थानीय किसानों और स्वरोजगार से जुड़े लोगों के लिए यह आर्थिक रूप से मजबूती का जरिया भी साबित हो रही है. योगी सरकार की योजना है कि भविष्य में इस तरह की पेंट प्लांट्स की संख्या बढ़ाकर और अधिक रोजगार सृजित किया जाएगा. 

इस प्राकृतिक पेंट का उपयोग केवल व्यापारिक क्षेत्र तक सीमित नहीं है, बल्कि यूपी के कई सरकारी भवनों में भी इसे लगाने का काम शुरू हो गया है. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने स्वच्छ भारत अभियान और मेक इन इंडिया के तहत इस पहल को मजबूती देते हुए इसे प्रदेश भर में फैलाने के निर्देश दिए हैं. 

गोवंश बढ़ा रहे रोजगार के साथ
इसके अलावा आपको बता दें कि यूपी के 7693 गो आश्रय स्थलों में 11.49 लाख गोवंश की निगरानी सीसीटीवी के जरिये की जा रही है, जबकि दुग्ध संघों को वित्तीय सहायता प्रदान की जा रही है. वाराणसी, अयोध्या, बरेली, मिर्जापुर, मथुरा और बस्ती जैसे जिलों में दुग्ध संघों को 818.22 लाख रुपये का लाभ मिला है. यूपी में गोवंश अब रोजगार का बेहतर जरिया बन गए हैं.

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