फिरोजाबाद: बुखार ने बुझा दिए घरों के चिराग, 32 बच्चों की हुई मौत

यूपी तक

• 01:43 PM • 30 Aug 2021

उत्तर प्रदेश के फिरोजाबाद जिले में पिछले कुछ दिनों से बुखार ने कहर बरपाया हुआ है. इस बुखार को संदिग्ध डेंगू/वायरल फीवर बताया जा रहा…

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उत्तर प्रदेश के फिरोजाबाद जिले में पिछले कुछ दिनों से बुखार ने कहर बरपाया हुआ है. इस बुखार को संदिग्ध डेंगू/वायरल फीवर बताया जा रहा है, जिसकी चपेट में बच्चे ज्यादा आ रहे हैं. इस बीच, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 30 अगस्त को फिरोजाबाद का दौरा किया. इस दौरान उन्होंने कहा कि 32 बच्चों की और 7 वयस्कों की मौत हुई है. वहीं स्थानीय सदर विधायक मनीष असीजा ने 29 अगस्त को बताया था कि 40 से ज्यादा बच्चों की मौत हो चुकी है.

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बच्चों की मौत ने कई परिवारों को झकझोरा, जिम्मेदार कौन?

फिरोजाबाद के आजाद नगर के रहने वाले 30 वर्षीय संजय सिंह किराने की दुकान चलाते हैं. हाल ही में इनके 10 साल के एकलौते बच्चे रोहित को बुखार आया था, जिसे जिला अस्पताल ले जाया गया था. वहां डॉक्टर ने दवा देकर रोहित को घर भेज दिया. जब रोहित का बुखार नहीं उतरा तो उसे आगरा के एक बड़े नर्सिंग होम में ले जाया गया. 2 दिन का समय बीता और बच्चे के प्लेटलेट्स में भारी गिरावट आ गई. 28 अगस्त को बच्चे की मौत हो गई.

संजय सिंह रोते-रोते बताते हैं कि उन्होंने अपने इकलौते बेटे को बचाने की पूरी कोशिश की, लेकिन डेंगू h1 ने बच्चे की जान ले ली. बेहद घनी बस्ती में रहने वाले संजय स्वास्थ्य विभाग और नगर निगम को लापरवाही का जिम्मेदार मानते हैं.

अंबेडकर नगर, वॉर्ड नंबर 38 रेहना के रहने वाले रामकुमार के 16 वर्षीय बेटे राज की भी 7 अगस्त को डेंगू से मौत हो गई थी. उनकी 13 वर्षीय बेटी साधना तभी से बीमार चल रही थी. बेहतर इलाज के लिए पहले उसे आगरा के एक निजी अस्पताल और फिर जयपुर के सवाई मानसिंह अस्पताल ले जाया गया. मगर 27 अगस्त को साधना की भी बुखार से मौत हो गई.

20 दिन में दो बच्चों की मौत ने रामकुमार को झकझोर कर रख दिया है. उनका पूरा परिवार मातम में डूबा है.

अलार्म नगर में रहने वाले राजेंद्र कुमार ने 10 दिनों में अपनी दो बेटियों खोया है. उनकी 13 वर्षीय बेटी संध्या की मौत 17 अगस्त को हुई थी. संध्या को बुखार आने पर जिला अस्पताल ले जाया गया था. वहां बताया गया कि संध्या डेंगू पॉजिटिव है. उसके प्लेटलेट्स गिरते गए और वहीं देर रात होते-होते संध्या की मौत हो गई.

राजेंद्र की दूसरी बेटा नेहा को भी बुखार आया और उसे भी डेंगू पॉजिटिव पाया गया. तेज बुखार और पेट में दर्द से जूझते हुए नेहा की भी मौत हो गई.

सीएम योगी आदित्यनाथ ने क्या-क्या कहा?

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 30 अगस्त को फिरोजाबाद पहुंचकर राजकीय चिकित्सा महाविद्यालय का निरीक्षण किया. इस दौरान उन्होंने मरीजों से मिलकर उनका हाल-चाल जाना और अधिकारियों को बेहतर मेडिकल सुविधाएं उपलब्ध कराने के निर्देश दिए.

फिरोजाबाद में सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा, ”यहां पर डेंगू के संदिग्ध मामले पाए गए हैं. 18 तारीख को पहला मामला सामने आया था. तेजी के साथ यहां के लगभग 8-9 मोहल्लों में संदिग्ध डेंगू से संबंधित मामले देखने को मिले. स्थानीय स्तर पर जागरूकता का अभाव था.”

”लगभग 32 बच्चों की और 7 वयस्कों की मौत हुई है. हम यहां मेडिकल एजुकेशन और सर्विलांस की टीम भेजकर जांच करा रहे हैं कि ये मामले संदिग्ध डेंगू से ही जुड़े हुए हैं या और भी कोई मामला है.”

सीएम योगी आदित्यनाथ

इसके अलावा उन्होंने कहा, ”मेडिकल कॉलेज में पर्याप्त संख्या में मैनपावर उपलब्ध कराने के निर्देश दिए गए हैं. हर एक व्यक्ति को बेहतर सर्विलांस के माध्यम से उपचार की सुविधा उपलब्ध कराने के निर्देश दिए गए हैं. हर मरीज को प्राइवेट क्लिनिक या हॉस्पिटल में ले जाने की बजाए मेडिकल कॉलेज में ही सरकारी एम्बुलेंस के माध्यम से पहुंचाया जा सके, इसके बारे में स्वास्थ्य विभाग को निर्देश दिए गए हैं. अगर किसी स्तर पर कोई लापरवाही हुई होगी तो उसकी जवाबदेही भी तय की जाएगी.”

फिरोजाबाद के जिलाधिकारी ने बच्चों के स्वास्थ्य को ध्यान में रखते हुए 31 अगस्त से लेकर 6 सितंबर तक एक से 8वीं क्लास तक स्कूल बंद करने का आदेश जारी किया है.

विधायक बोले- मेरी निगाह में नगर निगम, स्वास्थ्य विभाग दोषी

बीजेपी विधायक मनीष असीजा ने इस मामले पर 29 अगस्त को कहा, ”40 से ऊपर बच्चों की असमय मौत हो चुकी है. सभी जगह पर दो-तीन बातें एक जैसी हैं- बुखार आ रहा है, प्लेटलेट्स गिर रहे हैं, जिन क्षेत्रों में भी डेंगू ने बच्चों को अपना शिकार बनाया है, उनके घर के आसपास बहुत सारी गंदगी और जलभराव पाया जा रहा है.”

”50 वाहन जो योगी जी के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश सरकार ने नगर निगम को सफाई व्यवस्था के लिए दिए थे, अप्रैल में आकर खड़े हुए थे… चार महीने ये वाहन खड़े रहे. कल जाकर उनको चालू करवाया गया है.”

मनीष असीजा, बीजेपी विधायक

उन्होंने कहा कि कुछ विभागों को जितनी जिम्मेदारी दिखानी थी, उन्होंने उसकी 10 फीसदी भी जिम्मेदारी नहीं दिखाई. इसके अलावा असीजा ने कहा, ”नगर निगम, स्वास्थ्य विभाग अपने आप में बहुत बड़े दोषी हैं मेरी निगाह में, इतनी बड़ी त्रासदी के”

हो सकता है कि कोई नया वेरिएंट आया हो: सीएमओ

इस मामले में फिरोजाबाद की मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) नीता कुलश्रेष्ठ ने 30 अगस्त की सुबह कहा, ”बच्चों की मौत पेट के दर्द और बुखार की वजह से हो रही है. ये सस्पेक्टेड डेंगू या वायरल फीवर है.”

उन्होंने यह भी कहा कि ये मौतें कोरोना की तीसरी लहर का संकेत नहीं देतीं.

जब सीएमओ से पूछा गया कि बच्चे डेंगू से उबर क्यों नहीं पा रहे हैं तो उन्होंने जवाब दिया, ”हो सकता है कि ये कोई नया वेरिएंट हो. हम इसकी जांच करवा रहे हैं. इसके लिए विशेषज्ञों की टीम आई हुई है.”

जब पूछा गया कि मौतों का आंकड़ा क्या है तो उन्होंने कहा कि उनके पास अभी ये जानकारी नहीं है. इसके साथ ही उन्होंने कैमरे की तरफ देखते हुए कहा, ”ये बंद कर दीजिए.”

(फिरोजाबाद से सुधीर शर्मा के इनपुट्स के साथ)

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