चचरे भाई के साथ लिव-इन में रहने वाली शिल्पा पांडे के साथ ये क्या हुआ?
सूरत से गाजियाबाद अपने प्रेमी के साथ रहने आई 23 वर्षीय शिल्पा पांडे को शायद ही अंदाजा था कि यह रिश्ता उसकी जान ले लेगा.
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सूरत से गाजियाबाद अपने प्रेमी के साथ रहने आई 23 वर्षीय शिल्पा पांडे को शायद ही अंदाजा था कि यह रिश्ता उसकी जान ले लेगा.

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शिल्पा और अमित तिवारी का रिश्ता न केवल प्रेम पर आधारित था, बल्कि दोनों चचेरे भाई भी थे. दोनों कथित तौर पर लिव-इन रिलेशनशिप में रह रहे थे.अमित ने आरोप लगाया कि शिल्पा उसे अपने परिवार को छोड़ने और स्थायी रूप से साथ रहने का दबाव बना रही थी. उसने यह भी दावा किया कि शिल्पा ने झूठे केस में फंसाने की धमकी दी थी जो इस अपराध की वजह बनी.

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दिल्ली के गाजीपुर इलाके में एक जले हुए सूटकेस में शव मिलने से सनसनी फैल गई. पुलिस के लिए यह मामला बेहद चुनौतीपूर्ण था क्योंकि न केवल शव की पहचान करनी थी, बल्कि अपराधी तक पहुंचना भी जरूरी था.

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शव का हाल देखकर यह स्पष्ट था कि अपराधी ने सबूत मिटाने की पूरी कोशिश की थी. लेकिन पुलिस की सतर्कता और आधुनिक तकनीकी उपकरणों के सहारे आरोपी तक पहुंचने में मदद मिली. इस घटना ने दिखाया कि पुलिस ने किस तरह कठिन परिस्थितियों में मामले को सुलझाया.

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पुलिस जांच के दौरान आरोपी अमित ने कबूल किया कि उसने नशे की हालत में शिल्पा से झगड़ा किया और गुस्से में अपनी कोहनी से उसे मारा. इसके बाद उसने गला दबाकर उसकी हत्या कर दी.

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यह घटना रिश्तों में बढ़ते तनाव और अनियंत्रित गुस्से का परिणाम है. हत्या के बाद अमित ने अपने दोस्त अनुज कुमार को बुलाया और शव को ठिकाने लगाने के लिए उसकी मदद मांगी. यह घटना दिखाती है कि अपराधी ने न केवल हत्या की, बल्कि इसे छिपाने के लिए भी प्रयास किए.

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अपराधियों ने शव को ठिकाने लगाने के लिए पश्चिमी उत्तर प्रदेश जाने की योजना बनाई, लेकिन गणतंत्र दिवस की तैयारियों के चलते पुलिस की सख्त जांच के कारण वे अपनी योजना बदलने को मजबूर हो गए. उन्होंने गाजीपुर के पेपर मंडी के पास शव को फेंकने और उसे जलाने का निर्णय लिया. यह दिखाता है कि अपराधी अपने अपराध को छुपाने के लिए किस हद तक जा सकते हैं.

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पुलिस ने इस मामले को सुलझाने के लिए आधुनिक तकनीकों का सहारा लिया. सीसीटीवी फुटेज और ऑटोमेटिक नंबर प्लेट रिकग्निशन (ANPR) की मदद से पुलिस ने आरोपी को ट्रैक किया. पुलिस ने अमित और अनुज को गिरफ्तार कर लिया. अमित प्रयागराज भागने की फिराक में था, लेकिन पुलिस ने समय रहते उसे पकड़ लिया.