UP Political News: उत्तर प्रदेश में अगले साल 11 सीटों पर होने वाले विधान परिषद के स्नातक और शिक्षक निर्वाचन क्षेत्रों के चुनाव को लेकर एक बड़ी खबर सामने आई है. समाजवादी पार्टी ने इन चुनावों के लिए अपने 5 उम्मीदावरों की घोषणा की है. विधान परिषद शिक्षक चुनाव के लिए सपा ने 2 जबकि विधान परिषद स्नातक चुनाव के लिए 3 प्रत्याशियों का ऐलान किया है. यहां नीचे देखिए सपा के उम्मीदवारों की लिस्ट.
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उत्तर प्रदेश विधान परिषद शिक्षक चुनाव के लिए वाराणसी-मिर्जापुर खंड से लाल बिहारी यादव और गोरखपुर-फैजाबाद खंड से कमलेश को अपना उम्मीदवार बनाया है.
वहीं, उत्तर प्रदेश विधान परिषद स्नातक चुनाव के लिए सपा ने इलाहाबाद-झांसी खंड से डॉ. मान सिंह, वाराणसी-मिर्जापुर खंड से आशुतोष सिन्हा और लखनऊ खंड से कान्ति सिंह को अपना प्रत्याशी घोषित किया है.
आपको बता दें कि चुनाव से पहले मुख्य निर्वाचन अधिकारी (CEO) नवदीप रिणवा ने कई अहम निर्देश जारी किए हैं. मतदाताओं की सुविधा पर खास जोर दिया गया है.
आपके लिए क्या बदला?
वोटरों को अब मतदान के लिए 16 किलोमीटर से ज्यादा की दूरी नहीं तय करनी पड़ेगी. CEO ने निर्देश दिया है कि मतदान केंद्रों का चयन इस तरह हो कि वोटरों को कम से कम चलना पड़े. अगर कोई मतदाता स्नातक और शिक्षक दोनों निर्वाचन क्षेत्रों का वोटर है, तो उसे अलग-अलग जगह नहीं जाना होगा. दोनों चुनाव के लिए उसका मतदान स्थल एक ही स्थान पर रहेगा. यह मतदाताओं के लिए बड़ी राहत है.
नवंबर 2025 होगी 'अर्हता' की तारीख
इन चुनावों के लिए नई वोटर लिस्ट तैयार होगी. वोटर लिस्ट के पुनरीक्षण के लिए अर्हता की तारीख 1 नवंबर, 2025 तय की गई है.
ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन की सुविधा
स्नातक और शिक्षक निर्वाचन क्षेत्रों की वोटर लिस्ट में नाम जुड़वाने के लिए अब ऑनलाइन पोर्टल की व्यवस्था की जा रही है. आवेदक घर बैठे ही ऑनलाइन आवेदन कर सकेंगे. उप मुख्य निर्वाचन अधिकारी अमित सिंह ने बताया कि एक मोबाइल नंबर से 6 आवेदन किए जा सकते हैं. हर आवेदन के लिए अलग OTP आएगी। ऑनलाइन फॉर्म भरने के बाद ऑफलाइन जमा करने की कोई जरूरत नहीं होगी.
ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन के बाद सहायक निर्वाचक रजिस्ट्रीकरण अधिकारी/रजिस्ट्रीकरण अधिकारी फॉर्म की जांच करेंगे. अगर कोई दिक्कत आई, तो वोटर को फोन करके सत्यापन के लिए बुलाया जाएगा.
मुख्य निर्वाचन अधिकारी नवदीप रिणवा ने बताया कि पुनरीक्षण प्रक्रिया शुरू होने से पहले ही मतदान स्थलों का निर्धारण किया जाएगा. मतदाताओं की संख्या, सरकारी भवनों की उपलब्धता और मूलभूत सुविधाओं (शौचालय, पेयजल) को ध्यान में रखा जाएगा. यह कदम इसलिए उठाया गया है ताकि पुराने मतदान स्थलों की परिपाटी टूटे और जरूरत के हिसाब से नए केंद्र बनाए जा सकें.
इन क्षेत्रों में होंगे चुनाव:
- स्नातक क्षेत्र: लखनऊ, मेरठ, आगरा, वाराणसी और इलाहाबाद-झांसी.
- शिक्षक क्षेत्र: लखनऊ, मेरठ, आगरा, वाराणसी, बरेली-मुरादाबाद और गोरखपुर-फैजाबाद.
इन सभी क्षेत्रों के वर्तमान सदस्यों का कार्यकाल 7 दिसंबर, 2026 को खत्म हो रहा है. इसलिए 2026 में यहां चुनाव होने हैं। तैयारी अभी से शुरू हो चुकी है.
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