ना चला आकाश आनंद का जादू और ना ही दौड़ी 'हाथी', हरियाणा से बसपा की वापसी की राह को लगा झटका
Haryana Election Results 2024 : हरियाणा विधानसभा चुनाव के नतीजे अब साफ हो चुके हैं और राज्य में एक बार फिर भाजपा की सरकार बनती दिख रही है.
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Haryana Election Results 2024 : हरियाणा विधानसभा चुनाव के नतीजे अब साफ हो चुके हैं और राज्य में एक बार फिर भाजपा की सरकार बनती दिख रही है. यह लगातार तीसरी बार होगा जब भाजपा हरियाणा में अपनी सरकार बनाएगी. कांग्रेस इस बार जीत की उम्मीद कर रही थी, लेकिन भाजपा ने उसकी उम्मीदों पर पानी फेर दिया है. वहीं हरियाणा चुनाव में कांग्रेस और भाजपा के साथ-साथ लोगों की नजरें मायावती की बहुजन समाज पार्टी (बीएसपी) पर भी टिकी थीं. बसपा के समर्थकों को उम्मीद थी कि आकाश आनंद और मायावती के धुआंधार प्रचार के बाद बसपा हरियाणा चुनाव से राजनीति में अपनी वापसी की राह तलाश लेगी पर नतीजों में ऐसा कुछ होता नहीं दिख रहा है.
बसपा का ऐसा हाल
बीएसपी और आईएनएलडी के बीच हुए गठबंधन के तहत मायावती को हरियाणा चुनाव में लड़ने के लिए 37 सीटें मिलीं थी. वहीं, आईएनएलडी ने 53 सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारे थे. चुनाव आयोग की वेबसाइट के मुताबिक, बीएसपी जिस एक विधानसभा सीट- अटेली पर आगे चल रही थी अब वहां भी पिछल गई है. यहां बीएसपी उम्मीदवार अत्तर लाल, बीजेपी की आरती सिंह राव से 2928 वोटों से पीछे हैं. हरियाणा में अबतक बसपा को मात्र 1.78 प्रतिशत वोट मिले हैं.
नहीं चला आकाश आनंद का जादू
लोकसभा चुनाव के तीसरे चरण की वोटिंग के दिन मायावती ने आकाश आनंद को नेशनल कोऑर्डिनेटर पद से हटा दिया था. इसके पीछे उन्होंने आकाश के परिपक्व नहीं होने का हवाला दिया था. बसपा चीफ ने आकाश के चुनाव प्रचार से जुड़े सारे कार्यक्रम रद्द कर दिए थे. वहीं इस फैसले के 47 दिन बाद फिर आकाश आनंद को बड़ी जिम्मेदारी दी गई थी. करीब डेढ़ महीने बाद आकाश को फिर से सारी जिम्मेदारी मिल गई थी. इस बार आकाश आनंद को नेशनल कोऑर्डिनेटर बनाकर पूरे देश का जिम्मा दिया गया. यहां तक की टिकट बंटवारे का भी जिम्मा आकाश आनंद को दिया गया था. मायावती ने आकाश आनंद को दूसरे नंबर का स्टार प्रचारक भी बनाया. हरियाणा विधानसभा चुनाव में आकाश आनंद ने पार्टी के लिए काफी प्रचार भी किया था.
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जिन सीटों पर लड़ी थी बसपा वहां ऐसा प्रदर्शन
- नारायणगढ़ में 11 राउंड की गिनती के बाद बसपा तीसरे स्थान पर है, 19870 वोट प्राप्त कर कांग्रेस और भाजपा के पीछे है. अंबाला सिटी में बसपा पांचवें स्थान पर रही, प्राप्त 1074 वोटों के साथ, जबकि कांग्रेस ने भाजपा पर बढ़त बनाई है.
- साढौरा में बसपा ने अच्छी टक्कर दी, तीसरे स्थान पर रहते हुए 41808 वोट प्राप्त किए। हालांकि, कांग्रेस से बसपा 6916 वोटों से पीछे है. जगाधरी में बसपा चौथे स्थान पर है, 4903 वोटों के साथ, कांग्रेस ने यहाँ भाजपा पर बड़ी बढ़त बना रखी है.
- उधर रादौर में, बसपा 8820 वोटों के साथ तीसरे स्थान पर है, लेकिन भाजपा कांग्रेस के आगे चल रही है. शाहबाद में भी बसपा तीसरे स्थान पर है. थानेसर में कांग्रेस आगे है जबकि बसपा 2824 वोटों के साथ चौथे स्थान पर है.
- कैथल में बसपा की स्थिति तीसरे स्थान पर है, जहां उन्होंने 2935 वोट प्राप्त किए हैं. पुंडरी में बसपा को पांचवां स्थान मिला है. इंद्री में बसपा 5546 वोटों के साथ तीसरे स्थान पर है. असंध में बसपा तीसरे स्थान पर है, जहां उन्होंने 10168 वोट हासिल किए.
- दूसरी ओर, पानीपत सिटी और गनौर में बसपा पांचवे स्थान पर है. गोहाना में उनकी स्थिति छठे स्थान पर है. सफीदों में यह छठे स्थान पर है. हांसी में मतगणना पूरी हो चुकी है और बसपा चौथे स्थान पर है.
2012 से लगातार ग्राफ जा रहा नीचे
उत्तर प्रदेश में 2012 में सत्ता गंवाने के बाद से पार्टी का राजनीतिक ग्राफ लगातार गिर रहा है, लेकिन 2024 में यह गिरावट अपने चरम पर पहुंच गई. लोकसभा चुनाव के बाद अब हरियाणा विधानसभा चुनाव में भी बसपा एक भी सीट नहीं जीतते नहीं दिख रही है. बसपा का वोट शेयर दशकों बाद सिंगल डिजिट में सिमट गया है. लोकसभा चुनाव में उत्तर प्रदेश में बसपा का वोट प्रतिशत मात्र 9.39 प्रतिशत रह गया है, जो पार्टी के लिए चिंता का विषय है. वहीं, अगर राष्ट्रीय स्तर की बात करें तो बसपा का वोट प्रतिशत सिर्फ 2.04 प्रतिशत तक गिर गया है. 1989 में जब बसपा को पहली बार सफलता मिली थी, तब पार्टी ने दो सीटें जीती थीं और उसका वोट शेयर 9.90 प्रतिशत था. इसके बावजूद, 2024 के आंकड़े बसपा के लिए एक बड़ा धक्का हैं और यह पार्टी के सबसे कठिन समय में से एक है.
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