25 साल के पुष्पेंद्र सरोज को अखिलेश ने कौशांबी से उतारा, लंदन की यूनिवर्सिटी से कर रहे पढ़ाई

अखिलेश कुमार

12 Apr 2024 (अपडेटेड: 12 Apr 2024, 07:26 PM)

समाजवादी पार्टी ने कौशांबी लोकसभा सीट से 25 साल के युवा पुष्पेंद्र सरोज को अपना उम्मीदवार बनाया है. पुष्पेंद्र सरोज सपा के महासचिव और मंझनपुर विधानसभा से 5 बार के विधायक रहे इंद्रजीत सरोज के बड़े बेटे हैं.

Kaushambi, Indrajit Saroj

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Kaushambi News: समाजवादी पार्टी ने कौशांबी लोकसभा सीट से 25 साल के युवा पुष्पेंद्र सरोज को अपना उम्मीदवार बनाया है. पुष्पेंद्र सरोज सपा के महासचिव और मंझनपुर विधानसभा से 5 बार के विधायक रहे इंद्रजीत सरोज के बड़े बेटे हैं. पुष्पेंद्र सरोज का जन्म साल 1999 में हुआ था. ऐसे में 25 साल की उम्र में ही सपा ने उनपर बड़ा दांव खेल लिया है. इसी के साथ पुष्पेंद्र सरोज अपने पिता की राजनीतिक विरासत को आगे बढ़ाने के लिए भी तैयार हो गए हैं.  

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लंदन से कर रहे हैं पढ़ाई

आपको बता दें कि पुष्पेंद्र सरोज फिलहाल लंदन से अपनी पढ़ाई कर रहे हैं. वह लंदन की क्वीन मैरी यूनिवर्सिटी से बीएससी अकाउंटिंग एंड मैनेजमेंट की पढ़ाई कर रहे हैं. अभी उनकी पढ़ाई पूरी नहीं हुई है. इससे पहले ही उन्हें लोकसभा चुनाव की सियासी परीक्षा से गुजरना होगा. 

मिली जानकारी के मुताबिक, पुष्पेंद्र सरोज  मंझनपुर तहसील के नगरेहा खुर्द गांव के रहने वाले हैं. फिलहाल वह परिवार के साथ प्रयागराज के सुलेम सराय मोहल्ले में रहते हैं. पुष्पेंद्र सरोज को राजनीति का कोई खास अनुभव नहीं है. इसके बावजूद भी सपा ने पुष्पेंद्र पर दांव खेल है. 

इंद्रजीत सरोज ने बसपा से शुरू की थी राजनीति की शुरुआत

आपको बता दें कि पुष्पेंद्र सरोज के पिता इंद्रजीत सरोज ने राजनीति का प्रारंभ बहुजन समाज पार्टी से किया था. वह पहली बार बसपा के टिकट पर साल 1996 में विधायक बने थे. साल 2012 तक वह लगातार इस सीट से चुनाव में विजयी होते रहे. इस दौरान वह बसपा की सरकारों में 3 बार मंत्री भी बने. 

2017 की भाजपा लहर में हारे इंद्रजीत सरोज

बता दें कि साल 2017 में यूपी में भाजपा की ऐसी लहर चली कि इंद्रजीत सरोज भी अपनी सीट हार बैठे. इस दौरान 4160 वोटों से उन्हें हार का सामना करना पड़ा. बताया जाता है कि इसके बाद उनका मायावती से किसी बात को लेकर विवाद हो गया. इसके बाद उन्हें पार्टी छोड़ दी और वह सपा में शामिल हो गए.

बता दें कि पासी समाज का बड़ा नेता होने के चलते सपा मुखिया अखिलेश यादव ने उनके कद को कम नहीं किया. सपा ने भी उन्हें पार्टी का राष्ट्रीय महासचिव बना दिया. साल 2019 में इंद्रजीत सरोज को सपा ने कौशांबी से अपना लोकसभा उम्मीदवार बनाया. मगर उन्हें चुनाव में भाजपा के विनोद सोनकर ने हरा दिया.  इसके बाद सपा के टिकट पर इंद्रजीत सरोज ने मंझनपुर सीट से साल 2022 में विधानसभा चुनाव लड़ा. इस चुनाव में उन्हें जीत हासिल हुई.  अब सपा ने उनके बेटे पुष्पेंद्र सरोज को टिकट दे दिया है.

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