13 साल की राखी महाकुंभ घूमने आई और साध्वी बनने की जिद कर बैठी, मां-पिता ने भी उसे अखाड़े को कर दिया दान
Maha Kumbh 2025: आगरा की 13 साल की राखी सिंह धाकरे की कहानी महाकुंभ के दौरान वैराग्य की एक अनूठी मिसाल बन गई है.
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13-year-old Sadvi Rakhi in Maha Kumbh 2025
Maha Kumbh 2025: आगरा की 13 साल की राखी सिंह धाकरे की कहानी महाकुंभ के दौरान वैराग्य की एक अनूठी मिसाल बन गई है. एक आईएएस अधिकारी बनने का सपना देखने वाली राखी ने साध्वी बनने का ऐसा दृढ़ निश्चय किया कि उसके माता-पिता को भी उसकी इच्छाओं के आगे झुकना पड़ा. ये कहानी गजब की है. असल में आगरा के स्प्रिंगफील्ड इंटर कॉलेज में नौवीं कक्षा की छात्रा राखी अपने माता-पिता के साथ प्रयागराज के महाकुंभ में घूमने आई थी. राखी के पिता संदीप सिंह धाकरे आगरा में पेठा का कारोबार करते हैं, और उनकी मां रीमा धाकरे एक गृहिणी हैं. यह परिवार पिछले चार सालों से जूना अखाड़े से जुड़ा हुआ है और अखाड़े में सेवा देता आ रहा है.









