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अपने पिता के कैंसर की दर्दभरी कहानी बता सपा सांसद राजीव राय बोले- मेरे यहां की जमीन ले लो पर ये काम कर दो

यूपी तक

समाजवादी पार्टी (सपा) के सांसद राजीव राय ने संसद में अपने पिता को कैंसर की वजह से खोने की दर्दभरी कहानी सुनाई है. राजीव राय ने यहां तक कह दिया कि सरकार चाहे तो उनकी जमीन का इस्तेमाल कर पूर्वांचल में एक कैंसर अस्पताल खोल दे.

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Rajeev Rai
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UP News: संसद के शीतकालीन सत्र में समाजवादी पार्टी (सपा) के सांसद राजीव राय ने गुटखा पर लगने वाले टैक्स (सेस) बिल पर अपनी बात रखते हुए देश के स्वास्थ्य क्षेत्र की बदहाली और माफियाराज पर एक बेहद इमोशनल और तीखा हमला बोला है. उन्होंने अपने पिता को कैंसर की वजह से खोने की दर्दभरी कहानी सुनाई और सरकार को चुनौती दी कि अगर वह हकीकत में स्वास्थ्य सुरक्षा को लेकर गंभीर है तो उनकी यहां की खाली जमीन का इस्तेमाल करे और पूर्वांचल में एक कैंसर अस्पताल खोल दे. 

राजीव राय ने गुटखे के सेवन को गलत बताते हुए महात्मा गांधी का हवाला दिया, लेकिन साथ ही कहा कि इस उद्योग से जुड़े करोड़ों गरीब परिवारों पर कानून का असर नहीं पड़ना चाहिए. सांसद राजीव राय ने पूर्वांचल में बढ़ते कैंसर के मामलों को सामने रखते हुए अपनी व्यक्तिगत पीड़ा साझा की. उन्होंने बताया कि किस तरह उनके पिता को गले का कैंसर हो गया था और उनका इलाज कराने के लिए उन्हें बनारस से लेकर बेंगलुरु तक के अस्पतालों में भटकना पड़ा. 

राजीव राय ने चेयर को संबोधित करते हुए कहा कि, मैंने अपने पिता को खोया है. उनको गले का कैंसर हो गया था. उनको लेकर बनारस के अस्पतालों में गया, बैंगलोर तक के अस्पतालों में गया. एक-एक लाख रुपए का इंजेक्शन विदेश से मंगाकर लगाना पड़ता था. उन्होंने भावुक होकर कहा कि जिन गरीब परिवारों में कैंसर जैसी गंभीर बीमारी हो जाती है उनकी स्वास्थ्य सुरक्षा का क्या होगा. वह भी तब जब सरकार स्वास्थ्य सेस का पैसा ही राज्यों को ट्रांसफर नहीं कर रही है. राजीव राय ने आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री के संसदीय क्षेत्र बनारस में टाटा कैंसर अस्पताल के सामने आज भी कैंसर के मरीज सड़कों पर पड़े मिलते हैं. 

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यहां नीचे सुनिए राजीव राय की पूरी स्पीच

स्वास्थ्य सेवाओं की कमी से हताश राजीव राय ने सदन में खड़े होकर सरकार को चुनौती दी. उन्होंने कहा कि मेरे यहां ज़मीन है. मैं पहली बार से मांग कर रहा हूँ, ये कैंसर का अस्पताल खोल दीजिए. टैक्स लगवा दीजिए, हमारे यहां कैंसर का अस्पताल खोल दीजिए. उन्होंने जोर देकर कहा कि स्वास्थ्य सुरक्षा के नाम पर सिर्फ टैक्स लगाने से काम नहीं चलेगा, बल्कि अस्पतालों का निर्माण और चिकित्सा सुविधाओं में सुधार करना जरूरी है. 

सांसद राजीव राय ने सरकार पर स्वास्थ्य और शिक्षा के नाम पर इकट्ठा किए गए सेस फंड का दुरुपयोग करने का गंभीर आरोप लगाया. उन्होंने एक रिपोर्ट का हवाला देते हुए दावा किया कि पिछले छह सालों में लगभग 3 लाख 70 हजार करोड़ रुपये की राशि ट्रांसफर नहीं हुई है. माध्यमिक और उच्च शिक्षा के लिए 48 हजार करोड़ रुपये का ट्रांसफर लंबित है. स्वास्थ्य के लिए ट्रांसफर किए जाने वाले 37 हजार करोड़ रुपये अभी तक राज्यों को नहीं दिए गए हैं. राजीव राय ने कहा कि जब आप पहले से इकट्ठा किए गए पैसे को ट्रांसफर नहीं करते हैं, तो नया टैक्स लगाने का क्या औचित्य है?

यूपी में स्वास्थ्य माफिया पर राजीव राय ने बोला हमला

राजीव राय ने अपने भाषण में उत्तर प्रदेश और बिहार में सक्रिय स्वास्थ्य माफिया और फर्जी डॉक्टरों के रैकेट को तोड़ने की मांग की. उन्होंने सपा सांसद धर्मेंद्र यादव द्वारा उठाए गए कफ सिरप सिंडिकेट के मुद्दे का समर्थन करते हुए कहा कि बच्चों को नकली सिरप पिलाकर मारा जा रहा है और महिला एक साल तक भटकती रहती है, लेकिन FIR दर्ज नहीं होती. उन्होंने अपनी लोकसभा क्षेत्र की DISHA बैठक में उठाए गए मामले का जिक्र किया, जहां फर्जी डॉक्टरों के इलाज से एक महीने में चार-पांच महिलाओं की मौत हो गई. उन्होंने आरोप लगाया कि बड़े-बड़े डॉक्टरों के नाम का बोर्ड लगाकर 'सड़क छाप डॉक्टरों' से इलाज कराया जाता है, और यह सब सत्ता के संरक्षण में हो रहा है. 

राजीव राय ने चेतावनी दी कि जब देश का स्वास्थ्य ठीक नहीं रहेगा, तो आंतरिक सुरक्षा भी ऐसे ही खत्म हो जाएगी. उन्होंने सरकार से अनुरोध किया कि वह गुटखे के पैसे पर निर्भर रहने के बजाय, उत्तर प्रदेश जैसे राज्यों में काम कर रहे चिकित्सा माफिया को तोड़कर स्वास्थ्य सुरक्षा सुनिश्चित करे.

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