Ram Mandir: पीएम मोदी होंगे रामलला प्राण प्रतिष्ठा के जजमान, जानें अयोध्या में क्या-क्या करेंगे

यूपी तक

Ayodhya Ram Mandir: खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रामलला की प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम में मुख्य जजमान हैं. इस दौरान राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रमुख मोहन भागवत, यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी मौजूद रहेंगे.

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Ayodhya Ram Mandir
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Ayodhya Ram Mandir: आज अयोध्या राम मंदिर में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा का कार्यक्रम होने जा रहा है. पूरे देश भर में जश्न का माहौल है. विदेशों तक में राम मंदिर की धूम मची हुई है. बता दें कि खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रामलला की प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम में मुख्य जजमान हैं. इस दौरान राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रमुख मोहन भागवत, यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी मौजूद रहेंगे. इस भव्य कार्यक्रम में कारोबार, खेल, सिनेमा, धर्म, विज्ञान क्षेत्र के करीब 4 हजार प्रसिद्ध शख्सियतों को भी आमंत्रित किया गया है. बता दें कि अब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अयोध्या कर्यक्रम का पूरा प्रोग्राम भी सामने आ गया है.

आज अयोध्या में क्या-क्या करने वाले हैं पीएम मोदी

बता दें कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज करीब 4 घंटे तक अयोध्या में रहेंगे. इस दौरान जहां वह प्राण प्रतिष्ठा के कार्यकम में हिस्सा लेंगे तो वही पीएम मोदी लोगों को संबोधित भी करेंगे. इस दौरान वह कुबेर टीला के दर्शन भी करेंगे. 

मिली जानकारी के मुताबिक, पीएम मोदी अयोध्या एयरपोर्ट पर सुबह करीब 10.25 बजे पहुंचेंगे. अयोध्या पहुंचकर पीएम मोदी सीधे रामजन्मभूमि के लिए निकल पड़ेंगे. करीब 10.55 पर पीएम मोदी राम जन्मभूमि पहुंच जाएंगे. इसके बाद करीब 12 बजे से रामलला की प्राण प्रतिष्ठा की पूजा-विधि शुरू हो जाएगी और पीएम मोदी मुख्य जजमान के तौर पर इसमें शामिल रहेंगे.

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सभा को करेंगे संबोधित

बता दें कि रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के बाद पीएम मोदी एक सभा को भी संबोधित करेंगे. पीएम मोदी इस सभा के दौरान क्या कहते हैं, इसपर भी सभी की नजरें बनी हुई हैं. इसके बाद पीएम मोदी दोपहर करीब 2.10 बजे कुबेर टीला में दर्शन करके दिल्ली वापस लौट जाएंगे.

121 वैदिक आचार्य संपन्न कराएंगे रामलला की प्राण प्रतिष्ठा

बता दें कि रामलला की प्राण प्रतिष्ठा का कार्यक्रम भव्य होने वाला है. इसका अंदाजा आप इसी से लगा सकते हैं कि ये पूजा-विधि काशी के प्रख्यात वैदिक आचार्य गणेश्वर द्रविड़ और आचार्य लक्ष्मीकांत दीक्षित के निर्देशन में 121 वैदिक आचार्य संपन्न कराएंगे. 

इस दौरान देश के 150 से अधिक परंपराओं के संत-धर्माचार्य और 50 से अधिक आदिवासी, गिरिवासी, तटवासी, द्वीपवासी, जनजातीय परंपराओं की भी उपस्थिति होगी.

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