नजर लगना क्या होता है? ज्योतिषी पंडित शैलेंद्र पांडेय से समझिए और जानिए इसके उपाय
नज़र लगना एक ज्योतिषीय धारणा है, जिसमें किसी की नकारात्मक ऊर्जा हमारे स्वास्थ्य, सोच या कार्यों पर असर डालती है. पंडित शैलेंद्र पांडेय के अनुसार, सकारात्मक सोच, खानपान और सरल उपायों से इसके प्रभाव को कम किया जा सकता है.
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अक्सर आपने सुना होगा कि बच्चों को या किसी को नजर लग गई है, मगर नजर लगना असल में क्या होता है?

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ज्योतिष के अनुसार, हमारे आसपास तीन तरह की ऊर्जा सक्रिय रहती है – सकारात्मक, नकारात्मक और विरोधात्मक.

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हमारी सोच, आदत और व्यवहार से यह ऊर्जा बनती है और हमारे शरीर व घर के वातावरण का भी हिस्सा बन जाती है.

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जब हम अच्छाई और सकारात्मकता के साथ रहते हैं, तब शरीर में पॉजिटिव एनर्जी बनी रहती है.

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लेकिन जब कोई अन्य व्यक्ति की नकारात्मक सोच या ऊर्जा हमारे संपर्क में आ जाती है, तो उसका असर हम पर पड़ सकता है.

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नजर लगना दरअसल तब होता है, जब किसी की नेगेटिव एनर्जी हमारे ऊपर असर डालती है और हमारे स्वास्थ्य, सोच या प्रगति में अवरोध आता है.

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नजर लगने से मन अशांत हो सकता है, स्वास्थ्य प्रभावित हो सकता है और कुछ समय के लिए कामों में रुकावट आ सकती है.

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इसे दूर करने के लिए सबसे जरूरी है सकारात्मक सोच, अच्छे खानपान और सकारात्मक माहौल बनाए रखना.

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नजर से बचने के लिए कुछ आसान उपाय अपनाएं – नींबू, काले धागे या तुलसी का पत्ता, गहरे रंग की चीजें उपयोग कर सकते हैं.

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ज्योतिषी पंडित शैलेंद्र पांडेय के अनुसार, संकल्प, सकारात्मकता और सरल उपाय अपनाकर नजर का प्रभाव कम किया जा सकता है.

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ज्योतिषी पंडित शैलेंद्र पांडेय यह भी कहते हैं कि नजर लगना मन का भ्रम है, लेकिन एनर्जी नेगेटिव और पॉजिटिव होती हैं जिसका असर पड़ता है.