मौर्य परिवार के बाद अब जोशी परिवार में भी दो खेमे, एक BJP तो एक अखिलेश के साथ
पूर्व मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य के बाद अब बीजेपी सांसद रीता बहुगुणा जोशी के घर में भी विरोधी पार्टी ने सेंध लगा दी है. रीता…
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पूर्व मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य के बाद अब बीजेपी सांसद रीता बहुगुणा जोशी के घर में भी विरोधी पार्टी ने सेंध लगा दी है. रीता बहुगुणा के बेटे मयंक जोशी ने समाजवादी पार्टी (एसपी) के अध्यक्ष अखिलेश यादव की आजमगढ़ के गोपालपुर विधानसभा क्षेत्र में आयोजित जनसभा में एसपी की सदस्यता ग्रहण कर ली है.
स्वामी प्रसाद मौर्या के बाद अब रीता बहुगुणा जोशी के परिवार में भी दो पार्टियों के झंडे उठाने वाले रहेंगे. ऐन चुनाव से पहले बीजेपी छोड़कर एसपी का दामन थामने वाले स्वामी प्रसाद मौर्य की बेटी संघमित्रा मौर्य बदायूं से बीजेपी की सांसद हैं. यानी पिता सपाई और बेटी भाजपाई. कुछ इसी तर्ज पर रीता बहुगुणा जोशी के घर भी ऐसी लकीर खिंच गई है, मां भाजपाई तो बेटा सपाई.
वैसे मयंक जोशी ने बीते 22 फरवरी को ही समाजवादी पार्टी में जाने का इशारा कर दिया था. 22 फरवरी को मयंक जोशी ने अखिलेश यादव से मुलाकात की थी और खुद एसपी अध्यक्ष अखिलेश यादव ने इस मुलाकात को सोशल मीडिया पर सार्वजनिक किया था. उसके बाद से ही मयंक जोशी का एसपी में जाना तय हो गया था, बस औपचारिक एलान होना भर बाकी था.
दरअसल 2019 के चुनाव में ही जब बीजेपी ने रीता बहुगुणा जोशी को प्रयागराज से लोकसभा का टिकट दिया और रीता बहुगुणा जोशी सांसद बनीं, तभी उन्होंने आगे चुनाव न लड़ने का ऐलान कर दिया था.
रीता बहुगुणा जोशी के इस बयान से ही माना जाने लगा कि बहुगुणा परिवार से यूपी में राजनीति का अगला चेहरा मयंक जोशी होंगे और मयंक जोशी 2022 के चुनाव में लखनऊ की कैंट सीट से चुनाव लड़ेंगे. लेकिन जब टिकट का बंटवारा होना शुरू हुआ तो तभी मुलायम परिवार की छोटी बहू अपर्णा यादव ने बीजेपी ज्वॉइन कर ली और अपर्णा के भी कैंट सीट से ही चुनाव लड़ने की चर्चा तेज हो गई.
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मगर बीजेपी ने ना तो मयंक जोशी को टिकट दिया और ना ही अपर्णा यादव को, कैंट सीट से बीजेपी सरकार के कानून मंत्री बृजेश पाठक को उम्मीदवार बनाया.
अलग बात है कि कैंट विधानसभा पर जब 2017 के चुनाव में रीता बहुगुणा जोशी विधायक बनीं, तभी से मयंक जोशी सक्रिय थे. वही कैंट इलाके में उत्तराखंड के मूल निवासी वोटरों की अधिक संख्या भी मयंक जोशी की दावेदारी को मजबूत कर रही थी. लेकिन पार्टी ने मयंक जोशी और अपर्णा यादव के बजाय बृजेश पाठक को उम्मीदवार बनाया.
इसके बाद से ही मयंक जोशी के एसपी में जाने की चर्चाएं तेज हो गई थीं. मयंक की 22 फरवरी को एसपी अध्यक्ष अखिलेश यादव से मुलाकात हुई और 5 मार्च को आजमगढ़ में अखिलेश यादव की जनसभा में उन्होंने समाजवादी पार्टी की सदस्यता ले ली.
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