अलीगढ़ में बोले PM मोदी- ‘योगी सरकार में गरीब की सुनवाई भी, गरीब का सम्मान भी’

यूपी तक

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उत्तर प्रदेश के अलीगढ़ में 14 सितंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राजा महेंद्र प्रताप सिंह स्टेट यूनिवर्सिटी का शिलान्यास किया है. इस दौरान यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी मौजूद रहे.

अपने संबोधन में पीएम मोदी ने कहा, ”आज अलीगढ़ के लिए, पश्चिमी उत्तर प्रदेश के लिए बहुत बड़ा दिन है. आज राधाष्टमी है, जो आज के दिन को और भी पुनीत बनाता है. बृज भूमि के कण-कण में राधा ही राधा हैं. मैं पूरे देश को राधाष्टमी की हार्दिक बधाई देता हूं.”

पीएम मोदी ने कहा कि 2017 से पहले गरीबों की हर योजना में यूपी में रोड़े अटकाए जाते थे. उन्होंने कहा कि यूपी के लोग भूल नहीं सकते कि पहले यहां किस तरह के घोटाले होते थे. इसके अलावा पीएम मोदी ने कहा कि योगी सरकार में गरीब की सुनवाई भी है, गरीब का सम्मान भी है.

उन्होंने कहा कि एक दौर था जब यहां शासन-प्रशासन, गुंडों और माफियाओं की मनमानी से चलता था, लेकिन अब वसूली करने वाले, माफियाराज चलाने वाले सलाखों के पीछे हैं.

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एक ऐसे वक्त में जब बीजेपी की अगुवाई वाली केंद्र सरकार के 3 नए कृषि कानूनों के खिलाफ किसान आंदोलन जारी है, किसानों को लेकर पीएम मोदी ने कहा, ”केंद्र सरकार का निरंतर प्रयास है कि छोटी जोत वालों को ताकत दी जाए. डेढ़ गुणा MSP हो, किसान क्रेडिट कार्ड का विस्तार हो, बीमा योजना में सुधार हो, 3 हजार रुपये की पेंशन की व्यवस्था हो, ऐसे अनेक फैसले छोटे किसानों को सशक्त कर रहे हैं.” उन्होंने कहा, ”देश के जिन छोटे किसानों की चिंता चौधरी चरण सिंह जी को थी, उनके साथ सरकार एक साथी की तरह खड़ी रहे, ये बहुत जरूरी है. इसलिए केंद्र सरकार का निरंतर प्रयास है कि छोटी जोत वाले किसानों को ताकत दी जाए.”

इसके अलावा उन्होंने कहा,

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  • मैं आज स्वर्गीय कल्याण सिंह जी की अनुपस्थिति बहुत ज्यादा महसूस कर रहा हूं. आज कल्याण सिंह जी हमारे साथ होते तो राजा महेंद्र प्रताप सिंह राज्य विश्वविद्यालय और डिफेंस सेक्टर में बन रही अलीगढ़ की नई पहचान को देखकर बहुत खुश हुए होते.”

  • ”आज जब देश अपनी आजादी के 75 वर्ष का पर्व मना रहा है, आजादी का अमृत महोत्सव मना रहा है, तो इन कोशिशों को और गति दी गई है. भारत की आजादी में राजा महेंद्र प्रताप सिंह जी के योगदान को नमन करने का ये प्रयास ऐसा ही एक पावन अवसर है.”

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  • ”आज देश के हर उस युवा को, जो बड़े सपने देख रहा है, जो बड़े लक्ष्य पाना चाहता है, उसे राजा महेंद्र प्रताप सिंह जी के बार में अवश्य जानना चाहिए, अवश्य पढ़ना चाहिए. राजा महेंद्र प्रताप सिंह जी के जीवन से हमें अदम्य इच्छाशक्ति अपने सपनों को पूरा करने के लिए कुछ भी कर गुजरने वाली जीवटता आज भी हमें सीखने को मिलती है.”

  • पीएम मोदी ने कहा, ”हमारी आजादी के आंदोलन में ऐसे कितने ही महान व्यक्तित्वों ने अपना सब कुछ खपा दिया, लेकिन ये देश का दुर्भाग्य रहा कि आजादी के बाद ऐसे राष्ट्र नायक और राष्ट्र नायिकाओं की तपस्या से देश की अगली पीढ़ियों को परिचित ही नहीं कराया गया. उनकी गाथाओं को जानने से देश की कई पीढ़ियां वंचित रह गईं. 20वीं सदी की उन गलतियों को आज 21वीं सदी का भारत सुधार रहा है.”

    पीएम मोदी ने कहा,

    • ”राजा महेंद्र प्रताप सिंह जी सिर्फ भारत की आजादी के लिए ही नहीं लड़े थे, बल्कि उन्होंने भारत के भविष्य के निर्माण की नींव में भी सक्रिय योगदान दिया था. उन्होंने अपनी देश-विदेश की यात्राओं में मिले अनुभवों का उपयोग भारत की शिक्षा व्यवस्था को आधुनिक बनाने के लिए किया था.”

    • ”वृंदावन में आधुनिक टेक्निकल कॉलेज, उन्होंने अपने संसाधनों, अपनी पैतृक संपत्ति दान करके बनवाया था. अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के लिए भी बड़ी जमीन राजा महेंद्र प्रताप सिंह जी ने ही दी थी.”

    कौन थे राजा महेंद्र प्रताप, उनके नाम पर यूनिवर्सिटी बनने के क्या हैं मायने?

    उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से जारी एक बयान के मुताबिक, राजा महेंद्र प्रताप का जन्म एक दिसंबर 1886 को मुरसान रियासत के एक जाट परिवार में हुआ था, यह रियासत मौजूदा उत्तर प्रदेश के हाथरस जिले में थी, वह राजा घनश्याम सिंह के तीसरे बेटे थे, जब वह तीन साल के थे तब हाथरस के राजा हरनारायण सिंह ने उन्हें गोद ले लिया था.

    बयान में बताया गया है कि राजा महेंद्र प्रताप ने दिसंबर 1914 में अलीगढ़ में अपना घर और परिवार छोड़ दिया और जर्मनी चले गए और लगभग 33 सालों तक निर्वासन में रहे क्योंकि ब्रिटिश प्राधिकारियों को उनकी तलाश थी, भारत को आजादी मिलने के बाद ही वह 1947 में भारत लौटे थे.

    प्रताप का परिवार प्रमुख जाट शाही परिवारों में से एक था. ऐसे में बीजेपी के लिए उनके नाम पर यूनिवर्सिटी बनाना इसलिए भी अहम है क्योंकि वो ऐसे वक्त में जाट समुदाय को साधना चाहेगी, जब उसे किसान आंदोलन की वजह से पश्चिमी उत्तर प्रदेश के जाट वोटों का नुकसान हो सकता है.

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