ज्ञानवापी मस्जिद परिसर का होगा ASI सर्वे, अब मुस्लिम पक्ष के वकील उठाएंगे ये वाला स्टेप
Varanasi News: वाराणसी की जिला अदालत हिंदू पक्ष द्वारा दाखिल किए ज्ञानवापी मस्जिद (Gyanvapi Masjid Case) में वैज्ञानिक सर्वे के निर्देश देने वाली याचिका पर…
ADVERTISEMENT
Varanasi News: वाराणसी की जिला अदालत हिंदू पक्ष द्वारा दाखिल किए ज्ञानवापी मस्जिद (Gyanvapi Masjid Case) में वैज्ञानिक सर्वे के निर्देश देने वाली याचिका पर शुक्रवार को बड़ा फैसला सुनाया है. वाराणसी की कोर्ट ने ज्ञानवापी मस्जिद का एएसआई सर्वे कराने की इजाजत दे दी है. कोर्ट ने विवादित हिस्से (वजूखाना) को छोड़कर पूरे परिसर का सर्वे कराने की अनुमति दी है. मुस्लिम पक्ष ने सर्वे का विरोध किया था, लेकिन कोर्ट ने सभी दलीलों को सुनकर सर्वे की अनुमति दे दी है. वहीं फैसला आने के बाद मुस्लिम पक्ष के वकील के कड़ी प्रतिक्रिया दी है.
ASI सर्वे की इजाजत मिलने पर मुस्लिम पक्ष की आई ऐसी प्रतिक्रिया
जिला अदालत द्वारा फैसला सुनाए जाने के बाद मुस्लिम पक्ष के वकील तौहीद खान और रईस अहमद से यूपी तक ने खास बातचीत की. यूपी तक से बात करते हुए वकील रईस अहमद ने कहा कि, ‘ये कोई सामान्य कार्यवाही नहीं थी, ये जल्दीबाज़ी में आदेश दिया गया है. क्योंकि ये आदेश अभी आना नहीं चाहिए था. ये केस अभी प्रीमैच्योर है. सर्वे रिपोर्ट का निस्तारण नहीं हुआ है. ये पूरा प्रीमेच्योर आदेश है.’
वहीं फैसले पर एडवोकेट मोहम्मद तौहीद खान ने कहा कि,’कमिश्नर रिपोर्ट अभी भी अनडिस्पोज्ड है और उसकी को बेस बना कर ये एप्लीकेशन दिया गया है. विवादित संपत्ति का कुछ हिसाब अभी भी सुप्रीम कोर्ट के आदेश के तहत पूरी तरह जब्त किया गया है. सबूत नहीं हैं, एएसआई सर्वेक्षण का आदेश कानूनी नहीं होना चाहिए. अभी हमारा पैनल ऑर्डर कॉपी को देखेगा फिर फैसला करेगा.’
यह भी पढ़ें...
ADVERTISEMENT
कोर्ट के फैसले के बाद मुस्लिम पक्ष के अगला कदम क्या होगा? इस सवाल पर उन्होने कहा कि, ‘हम कोर्ट के ऑर्डर को अपनी कमेटी के सामने रखेंगे. उसके बाद आगे का फैसला लिया जाएगा. अगर हाईकोर्ट जाने की बात होगी तो वहां का भी दरवाजा खटखटाया जाएगा.’
हिंदू पक्ष के वकील ने कही ये बात
वहीं इस मामले में हिंदू पक्ष का प्रतिनिधित्व कर रहे वकील विष्णु शंकर जैन ने कहा कि, ‘हमारा कहना था कि उस पूरे क्षेत्र का ASI द्वारा सर्वेक्षण करना चाहिए. आज कोर्ट ने हमारे उस आवेदन पर सहमति दे दी है और अब ASI ही इस मामले की दिशा और दशा को निर्धारित करेगा. शिवलिंग का सर्वेक्षण नहीं होगा. उसका मामला सुप्रीम कोर्ट में विचाराधीन है जिसकी अगली सुनवाई 29 अगस्त को है. मगर शिवलिंग को छोड़कर पूरे परिसर का सर्वेक्षण होगा.’
ADVERTISEMENT
ADVERTISEMENT