कानपुर के मनीष गुप्ता की संदिग्ध मौत: DM और SSP ने FIR न करने का बनाया दबाव? वीडियो वायरल

रंजय सिंह

कानपुर के कारोबारी युवक मनीष गुप्ता की संदिग्ध मौत मामले में गुरुवार को सीएम योगी आदित्यनाथ पीड़ित परिजनों से मुलाकात करने वाले हैं. इस बीच…

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कानपुर के कारोबारी युवक मनीष गुप्ता की संदिग्ध मौत मामले में गुरुवार को सीएम योगी आदित्यनाथ पीड़ित परिजनों से मुलाकात करने वाले हैं. इस बीच सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हो रहा है, जिसमें कथित तौर पर गोरखपुर के डीएम और एसएसपी पीड़ित परिवार पर FIR न लिखवाने का दबाव बनाते देखे जा रहे हैं. आम आदमी पार्टी (AAP) के राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने भी वायरल वीडियो को ट्वीट करते हुए लिखा है कि ‘ये आदित्यनाथ सरकार के अधिकारी हैं. कह रहे हैं कि FIR न लिखवाओ वरना सालों साल केस चलेगा.’

उधर मृतक मनीष की पत्नी मीनाक्षी ने गोरखपुर के अधिकारियों के कथित वायरल वीडियो के बारे में बताया कि उन दो अधिकारियों ने तीन नाम हटवाकर FIR लिखवाई. मीनाक्षी का आरोप है कि दोनों अधिकारी सिर्फ पुलिस को बचाने की कोशिश करते नजर आए और यह वीडियो तभी का है जब एफआईआर दर्ज कराने की कोशिश की जा रही थी.

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बता दें कि कानपुर के मनीष गुप्ता की गोरखपुर में संदिग्ध मौत हो गई है. आरोप है कि होटल में जांच करने पहुंची पुलिस ने मनीष को इतना मारा कि उनकी मौत हो गई. मनीष की पत्नी मीनाक्षी की तरफ से इस मामले में 6 पुलिसवालों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई गई है. इनमें से 3 नामजद हैं और 3 अज्ञात. FIR में आईपीसी की धारा 302 लगाई गई है.

क्या है वायरल वीडियो में?

AAP नेता संजय सिंह ने भी इस वायरल वीडियो को ट्वीट किया है. उन्होंने इसके साथ लिखा है, ‘ये आदित्यनाथ सरकार के अधिकारी हैं. कह रहे हैं “FIR न लिखवाओ वरना सालों साल केस चलेगा”. SP महोदय खुद मान रहे हैं “पुलिसवालों का पहले से कोई झगड़ा तो था नही” मतलब साफ़ है कि एक निर्दोष व्यक्ति की बिना किसी जुर्म के हत्या कर दी गई. तो FIR क्यों नहीं? न्याय कैसे मिलेगा?’ इस ट्वीट को यहां नीचे देखा जा सकता है.

वायरल वीडियो में कथित तौर पर गोरखपुर डीएम विजय किरण आनंद और एसएसपी डॉ. विपिन टाडा पीड़ित परिजनों का मान-मनौव्वल करते नजर आ रहे हैं. हालांकि परिजन पुलिसकर्मियों को सजा देने की मांग पर अड़े दिख रहे हैं. वायरल वीडियो में अधिकारी को यह कहते हुए भी सुना जा सकता है कि मुकदमे तो लंबे समय तक चलते हैं.

क्या है मामला?

सोमवार-मंगलवार की दरम्यानी रात को गोरखपुर के एक होटल में पुलिस की दबिश के बाद मनीष की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई थी. मनीष के साथ होटल में रुके उनके दोस्त गुरुग्राम के रहने वाले अरविंद सिंह ने बताया कि वे होटल कृष्‍णा पैलेस के अपने रूम नंबर 512 में सो रहे थे.

अरविंद ने बताया कि देर रात पुलिसवालों ने दरवाजा खुलवाया और आईडी चेक करने लगे, मनीष ने देर रात की जांच पर सवाल उठाए, पुलिसवाले सामान तक चेक करने के बाद पीटने लगे. अरविंद का आरोप है कि पुलिसवाले शराब के नशे में भी थे, देर रात में की जा रही चेकिंग को लेकर सवाल पूछने पर उन्होंने पीटा.

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