बनारस, आजमगढ़ डिविजन के लिए सीएम योगी ने की खास बैठक, ये सब प्लान निकल कर आया सामने
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वाराणसी और आजमगढ़ मंडल के जनप्रतिनिधियों के साथ बैठक कर विकास प्राथमिकताओं पर चर्चा की. सड़कों, पुलों, पर्यटन और शहरी विकास के लिए नए प्लान सामने आए. जानें पूरा ब्लू प्रिंट.
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उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने पूर्वांचल के हिस्सों के डेवलपमेंट को लेकर अलग से फोकस कर रखा है. इसी क्रम में यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को वाराणसी और आजमगढ़ मंडल के जनप्रतिनिधियों के साथ एक खास बैठक की. इस बैठक का मुख्य मकसद इन दोनों मंडलों में विकास कार्यों को तेज करना, स्थानीय जरूरतों को समझना और चल रही योजनाओं की स्थिति की समीक्षा करना था. सीएम योगी ने साफ निर्देश दिए कि जनोपयोगी सेवाओं में विकास को गति दी जाए और दूरदराज के इलाकों पर भी विशेष ध्यान दिया जाए.
लोक निर्माण, नगर विकास और पर्यटन पर खास फोकस
मुख्यमंत्री ने बैठक के दौरान जन प्रतिनिधियों द्वारा दिए गए निर्वाचन क्षेत्र-वार प्रस्तावों की बारीकी से जांच की. इसमें मुख्य रूप से तीन विभागों से जुड़े प्रस्तावों पर ध्यान केंद्रित किया गया:
- लोक निर्माण विभाग (PWD): सड़कों, पुलों और पुलियों के निर्माण और मरम्मत से संबंधित प्रस्ताव.
- नगर विकास विभाग: शहरी क्षेत्रों के विकास और बुनियादी सुविधाओं से जुड़े प्रस्ताव.
- पर्यटन विभाग: पर्यटन स्थलों के विकास और कनेक्टिविटी से संबंधित प्रस्ताव.
- सड़कों और पुलों को मिलेगी प्राथमिकता: औद्योगिक और धार्मिक क्षेत्रों पर जोर
सीएम योगी ने लोक निर्माण विभाग के प्रमुख सचिव को निर्देश दिए कि जन प्रतिनिधियों द्वारा प्रस्तुत प्रस्तावों का तुरंत आकलन किया जाए, अनुमान तैयार किए जाएं, औपचारिकताएं पूरी की जाएं और बिना किसी देरी के काम शुरू किया जाए. मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को यह भी निर्देश दिया कि जन प्रतिनिधियों के प्रस्तावों को नगर विकास विभाग की आगामी परियोजनाओं में भी शामिल किया जाए.
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पर्यटन विकास पर विशेष ध्यान
वाराणसी और आजमगढ़ मंडल से संबंधित पर्यटन प्रस्तावों की भी समीक्षा की गई और उनको तेजी से पूरा करने के निर्देश दिए गए हैं. इन सुधारों का लक्ष्य न सिर्फ कनेक्टिविटी बढ़ाना है, बल्कि स्थानीय आर्थिक विकास को भी गति देना है.
पर्यटन से संबंधित प्रमुख परियोजनाएं:
- ब्लॉक मुख्यालयों को जोड़ने वाली सड़कें.
- आपस में जोड़ने वाली सड़कें (इंटरलिंकिंग रोड्स).
- धार्मिक स्थलों तक पहुंच मार्ग (एक्सेस रोड्स).
- रेलवे ओवरब्रिज (ROBs).
- बाईपास और फ्लाईओवर.
- पुल और पुलिया.
- ओडीआर/एमडीआर (अन्य जिला सड़कें/मुख्य जिला सड़कें) में सुधार.
- ब्लैक स्पॉट सुधार (दुर्घटना संभावित क्षेत्रों में).
- पंटून पुल (अस्थायी पुल).
ढिलाई करने वाले अफसर नपेंगे
सीएम ने स्पष्ट कर दिया है कि जन प्रतिनिधियों की तरफ से आने वाली जनहित की योजनाओं को अफसर जवाबदेही के साथ पूरी करें. यानी अधिकारियों को साफ संदेश है कि ढिलाई बर्दाश्त नहीं की जाएगी.