यूपी में घर गिराए जाने का मामला: SC में जमीयत उलमा ए हिंद ने दाखिल किया ये प्रति उत्तर

संजय शर्मा

• 12:11 PM • 28 Jun 2022

उत्तर प्रदेश में पत्थरबाजों और विरोध प्रदर्शन करने वालों के घर बुल्डोजर से ढहाए जाने के मामले में मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट में दाखिल यूपी…

UPTAK
follow google news

उत्तर प्रदेश में पत्थरबाजों और विरोध प्रदर्शन करने वालों के घर बुल्डोजर से ढहाए जाने के मामले में मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट में दाखिल यूपी सरकार के हलफनामे पर जमीयत उलमा ए हिंद ने प्रति उत्तर दाखिल किया है. इसमें यूपी, एमपी, गुजरात और दिल्ली में बुल्डोजर चलाकर एक खास तबके के लोगों के घर और संपत्तियां नष्ट की गई हैं. मामले में बुधवार को सुप्रीमकोर्ट सुनवाई कर सकता है.

यह भी पढ़ें...

अपने जवाबी हलफनामे में जमीअत ने कहा है कि सरकार अवैध निर्माण और अतिक्रमण कर किए गए निर्माण और म्युनिसिपल लॉ की आड़ लेकर बुल्डोजर चला रही है. जबकि सच्चाई ये है कि ये सारी प्रक्रिया विरोध प्रदर्शन के बाद ही अपनाई गई है. सरकार की नोटिस देने की दुहाई भी गलत है, क्योंकि कम से कम दो मामले तो सामने आए हैं जिनमें बिना नोटिस के ये बदले की भावना करते हुए लोगों के घर ढहाने की कार्रवाई की गई है. जमीअत ने कहा है कि बिना तय कानूनी प्रक्रिया का पालन किए हुए प्रशासन ने सरकार के इशारे पर मनाने ढंग से तोड़फोड़ की कार्रवाई की है.

किराएदार शामिल था उपद्रव में, घर मकान मालिक का गिराया गया

जमीअत ने ये भी दलील दी है कि यूपी के मुख्यमंत्री अपने बयानों में भी सरकार की मंशा जता चुके हैं. उन्होंने साफ कहा है कि विरोध के नाम पर पत्थर चलाकर हिंसा फैलाने वालों को सबक सिखाया जा रहा है. हलफनामे में कहा गया है कि सहारनपुर में मोहम्मद रहीस ने अपना घर किसी हशमत अली को किराए पर दिया था. हशमत के 17 साल के बेटे का नाम हिंसा करने वालों में लिखकर रहीस का घर ढहा दिया गया. घर के मालिक रहीस को कोई नोटिस नहीं दिया गया. इसी तरह अब्दुल वकीर को भी बिना नोटिस दिए उसका घर जमींदोज कर दिया. सरकार ने अपने हलफनामे में ये नहीं बताया की पिछले दो-तीन महीनों में ऐसे कितने अतिक्रमण हटाओ अभियान चलाए हैं.

जमीयत उलेमा ए हिंद ने उत्तर प्रदेश सरकार की वो दलील भी खारिज कर दी जिसमे प्रदेश सरकार ने सुप्रीम कोर्ट से कहा था कि नियमों के मुताबिक ही अतिक्रमण हटाया जा रहा है. इसके सबूत के तौर पर जमीयत ने अपने हलफनामे में सहारनपुर में प्रदेश सरकार की बुलडोजर कार्रवाई के फोटोग्राफ और वीडियो भी अदालत में जमा किए हैं. जमीयत ने अपने हलफनामे में कहा है कि राज्य सरकारें अतिक्रमण हटाने के नाम पर समुदाय विशेष को निशाना बना रही हैं.

इतना ही नहीं जमीयत ने अपने हलफनामे में यह भी कहा है कि सरकार की बुलडोजर की कार्रवाई उन जगहों पर भी हो रही है जहां दंगे नहीं हुए हैं. सरकार यह कार्रवाई दंगे के आरोपियों को सबक सिखाने के लिए कर रही है. जमीयत ने अपने हलफनामे मे राज्य में बड़े नेता और अधिकारी के बयान भी कोर्ट में हलाफ़नमे के तौर पर दिए. जिसमें कहा जा रहा है कि दंगा करने वालों के घर बुल्डोजर से तोड़े जा रहे हैं.

UP Tak को दीजिए सुझाव और पाइए आकर्षक इनाम

दर्शकों से मिले बेशुमार प्यार की ताकत ही है कि इंडिया टुडे ग्रुप के Tak परिवार के सदस्य यूपी तक ने YouTube पर 60 लाख सबस्क्रिप्शन का आंकड़ा पार कर लिया है. हमें और बेहतर बनने के लिए सिर्फ 60 शब्दों में आपके बेशकीमती सुझावों की जरूरत है. सुझाव देने वाले चुनिंदा लोगों को हमारी तरफ से आकर्षक पुरस्कार दिए जाएंगे. यहां नीचे शेयर की गई खबर पर क्लिक कर बताए गए तरीके से अपने सुझाव हमें भेजें और इनाम पाएं.

YouTube पर UP Tak परिवार 60 लाख पार, हम और बेहतर कैसे बनें? 60 शब्दों में बताइए, इनाम पाइएकानपुर हिंसा: पोस्टर जारी होते ही ‘पत्थरबाज’ ने किया सरेंडर, थाने पहुंचा नाबालिग युवक

    follow whatsapp
    Main news