40 विधायक और 18 सांसद लेकर BJP में जाएंगे चाचा शिवपाल यादव? जानें वायरल दावे का A टू Z सच
सोशल मीडिया पर सनसनी उस समय फैल गई, जब लोग सूत्रों का हवाला देकर कहने लगे कि शिवपाल यादव 40 विधायक और 18 सांसद लेकर कभी भी भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) में शामिल हो सकते हैं. जानें इस खबर का FACT चेक.
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Shivpal Yadav News: सोशल मीडिया पर इन दिनों तरह-तरह की चर्चाएं चल रहीं हैं. इन्हीं चर्चाओं में समाजवादी पार्टी (सपा) के वरिष्ठ नेता और पार्टी चीफ अखिलेश यादव के चाचा शिवपाल सिंह यादव का नाम भी जुड़ गया है. सोशल मीडिया पर सनसनी उस समय फैल गई, जब लोग सूत्रों का हवाला देकर कहने लगे कि शिवपाल यादव 40 विधायक और 18 सांसद लेकर कभी भी भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) में शामिल हो सकते हैं. बता दें कि ये खबर सोशल मीडिया पर आग की तरह फैली हुई है. हर कोई अब इसकी चर्चा करने लगा. खबर में आगे जानिए आखिर कहां से यह मामला शुरू हुआ और इसमें कितनी सच्चाई है?
अब सबसे बड़ा सवाल उठता है कि आखिर मामले की सच्चाई क्या है. क्या शिवपाल यादव को लेकर चल रही ये चर्चा फर्जी है? यूपी Tak ने अपनी पड़ताल में देखा कि लोग दैनिक भास्कर की एक न्यूज कटिंग शेयर कर रहे हैं, जिसमें लिखा है क्या बीजेपी में सामिल होंगे शिवपाल? इसे पोस्ट कर खुद को बीजेपी सोशल मीडिया हेड- यूथ विंग का बताने वालीं डॉ. रिचा सिंह लोधी लिखती हैं, 'चाचा खेला करने वाले हैं.'
यूपी Tak को अपनी पड़ताल में क्या मिला?
इस न्यूज कटिंग को गूगल पर खंगालने पर पता चला कि ये हूबहू दैनिक भास्कर की 31/03/2022 की लिखी हुई खबर है. तब भास्कर ने लिखा था, 'शिवपाल ने कोर कमेटी की बैठक बुलाई..मीटिंग के बाद कभी भी बड़ा फैसला ले सकते हैं...अखिलेश से नाराज चाचा अगर भाजपा में गए तो किस भूमिका में रहेंगे?' ये बात 2 साल पहले की है, जब शिवपाल यादव सपा सुप्रीमो अखिलेश से नाराज थे. इसका मतलब ये न्यूज कटिंग जो वायरल हो रही है वो पुरानी है.
शिवपाल को लेकर चल रहा दावा फर्जी है?
जब डॉ. रिचा सिंह लोधी के इस पोस्ट के कॉमेंट पर हमने नजर डाली तो हमें नजर आए श्याम यादव, जो खुद को पूर्व विधानसभा अध्यक्ष समाजवादी पार्टी छात्र सभा सीतापुर होने का दावा करते हैं. वो लिखते हैं कि फर्जी खबर मत फैलाओ. तो साफ तौर पर सपा के यूथ विंग के नेताओं ने इस दावे को फर्जी कहा है. हालांकि अभी तक चाचा शिवपाल यादव या सपा की ओर से कोई प्रतिक्रिया इसपर नहीं देखी गई है. फिलहाल यूपी Tak की पड़ताल में शिवपाल को लेकर चल रहा ये दावा फर्जी साबित हुआ है.
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आपको बता दें कि 8 दिसंबर 2022 को शिवपाल सिंह यादव ने अपनी पार्टी प्रगतिशील समाजवादी पार्टी का विलय अखिलेश की समाजवादी पार्टी में कर दिया था और दोनों चाचा भतीजे एक साथ आ गए थे.
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