49 साल के डॉक्टर पिता ने क्यों दी 18 वर्षीय बेटी के साथ NEET एग्जाम, वजह जान आप भी करेंगे सैल्यूट!
प्रयागराज के मशहूर न्यूरो सर्जन डॉक्टर प्रकाश खेतान ने अपनी 18 वर्षीय बेटी मिताली का मेडिकल कॉलेज में प्रवेश दिलाने के लिए अनूठी पहल की.
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उत्तर प्रदेश के प्रयागराज जिले से प्रेरणा देने वाली एक खबर सामने आई है. प्रयागराज के मशहूर न्यूरो सर्जन डॉक्टर प्रकाश खेतान ने अपनी 18 वर्षीय बेटी मिताली का मेडिकल कॉलेज में प्रवेश दिलाने के लिए एक ऐसी अनूठी पहल की, जिसकी हर कोई तारीफ कर रहा है. 49 वर्षीय पिता ने अपनी बेटी का हौसला बढ़ाने के लिए उसके साथ नीट एग्जाम की तैयारी की और परीक्षा भी दी. दोनों पिता और बेटी नीट परीक्षा में सफल भी हो गए.
डॉक्टर प्रकाश खेतान ने अपनी बेटी को नीट परीक्षा की तैयारी करने के लिए प्रेरित करते हुए उसके साथ खुद भी नीट की तैयारी करना शुरू कर दी, ताकि बेटी के साथ उनका कड़ा मुकाबला हो. बेटी ने भी इस चैलेंज को स्वीकार किया.
दोनों ने नीट की परीक्षा दी और उनकी बेटी को अपने पिता से ज्यादा अच्छे नंबर मिले. नीट यूजी 2023 स्कोर के आधार पर उनकी बेटी मिताली को एक अच्छे मेडिकल कॉलेज में प्रवेश मिल गया है.
डॉक्टर खेतान ने साल 1992 में सीपीएमटी की परीक्षा पास की थी. उन्होंने अपनी बेटी को प्रेरित करने के लिए फिर से मेडिकल प्रवेश परीक्षा की तैयारी की. दोनों को साल 2023 नीट यूजी के लिए दोनों को अलग-अलग सेंटर मिले थे. पिता को शिवकुटी और बेटी ने झूंसी केंद्र में परीक्षा दी थी.
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जून महीने में जब नीट यूजी 2023 का रिजल्ट आया तो उसने सबको चौंका दिए. बेटी मिताली को 90 प्रतिशत से ज्यादा अंक मिले, जबकि डॉक्टर खेतान को 89 फीसदी नंबर मिले. काउंसलिंग के बाद बेटी मिताली को कर्नाटक के नामी कॉलेज कस्तूरबा मेडिकल कॉलेज में एमबीबीएस कोर्स में प्रवेश मिल गया.
बता दें कि डॉक्टर खेतान का नाम गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में भी दर्ज है, क्योंकि 13 अप्रैल 2011 को डॉ. प्रकाश खेतान ने 18 साल की लड़की के दिमाग से 8 घंटे की सर्जरी करके 296 सिस्ट निकाले थे. डॉ. खेतान ने साल 1992 में सीपीएमटी पास करके मोतीलाल नेहरू मेडिकल कॉलेज में दाखिला लेकर एमबीबीएस कोर्स की पढ़ाई की थी. उसके बाद साल 1999 में लखनऊ से एमएस सर्जरी और साल 2003 में एमसीएच न्यूरो सर्जरी की पढ़ाई पूरी की.
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