कौन है गाजियाबाद में दूतावास खोलने वाला फर्जी राजदूत हर्ष वर्धन जैन? इसके पिता के बारे में जानकर चौंक जाएंगे

UP News: हर्ष वर्धन जैन खुद को कई देशों का राजदूत बताता था. इसने गाजियाबाद में दूतावास भी खोल रहा था. इसकी और इसके पिता की कहानी अब सभी को हैरान कर रही है.

Harshvardhan Jain (गाजियाबाद से पकड़ा गया फर्जी राजदूत हर्ष वर्धन जैन)

अरविंद ओझा

• 03:20 PM • 24 Jul 2025

follow google news

UP News: हर्ष वर्धन जैन ने फर्जीवाड़े  की ऐसी हद पार की जिसे जान पूरे देश चौंक गया. दरअसल हर्ष वर्धन जैन खुद ही कई देशों का राजदूत बन गया और गाजियाबाद में खुद ही इन देशों का दूतावास भी खोल लिया. 

यह भी पढ़ें...

हर्ष वर्धन का भौकाल ऐसा था कि वह राजयनिक नंबर प्लेट वाली गाड़ियां इस्तेमाल करता था और उसके पास एक से बढ़कर एक लग्जरी गाड़ियां थीं. हर गाड़ी पर राजयनिक नंबर प्लेट मौजूद थी.

कौन है फर्जी राजदूत हर्ष वर्धन जैन?

फर्जी राजदूत हर्ष वर्धन की जो कहानी सामने आई है, वह काफी हैरान कर देने वाली है. दरअसल हर्ष वर्धन जैन आर्थिक तौर से काफी संपन्न परिवार से आता है. उसके पिता की गिनती कभी राजस्थान के मजबूत और प्रभावशाली कारोबारियों में होती थी और इसका परिवार काफी नामी था.

हर्ष वर्धन जैन के पिता राजस्थान मार्बल माइंस के मालिक भी रहे थे. मगर पिता की मौत के बाद हर्ष वर्धन उनके कारोबार को संभाल नहीं पाया और उसे काफी नुकसान हुआ.

बता दें कि हर्ष वर्धन जैन ने लंदन से एमबीए किया है. उसने लंदन के कॉलेज ऑफ अप्लाइड साइंस से पढ़ाई की है. 

किन देशों का राजदूत बनता था हर्ष वर्धन?

जांच में सामने आया है कि हर्ष वर्धन जैन खुद को वेस्ट आर्टिका और सेबोर्गा, पोल्बिया, लोडोनिया जैसे अंजान देशों का राजदूत कहता था. वह राजयनिक नंबर प्लेट लगी गाड़ियों से ही चलता था और उसपर कभी किसी को शक नहीं हुआ. 

एसटीएफ ने ये बताया

एसटीएफ के एसएसपी सुशील घुले का कहना है कि हर्ष वर्धन जैन विदेशों में नौकरी का झांसा देकर लोगों को फंसाता था. वह अपनी इन फर्जी पहचान का इस्तेमाल करता था और फर्जी कंपनियों के चलते हवाला रैकेट चलाता था.

बता दें कि हर्ष वर्धन ने गाजियाबाद के कविनगर में आलीशान बंगला ले रखा था. एसटीएफ ने बंगले से राजनयिक पासपोर्ट समेत 44 लाख रुपये भी बरामद किए हैं.

    follow whatsapp