ओवैसी पर हमला: ‘मेरठ के आलिम ने सचिन को दिया था पिस्टल’, जानें FIR में और क्या-क्या लिखा?

अरविंद ओझा

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AIMIM सांसद असदुद्दीन ओवैसी के काफिले पर हुए हमले को लेकर अब FIR की कॉपी से अहम जानकारियां सामने आई हैं. इसके मुताबिक ओवैसी के काफिले पर फायरिंग के आरोपी सचिन को मेरठ के रहने वाले आलिम ने पिस्टल उपलब्ध कराई थी.

आपको बता दें कि सांसद असदुद्दीन ओवैसी के काफिले पर हापुड़ में राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या नौ पर हमला हुआ था. इस मामले में पुलिस ने दो आरोपियों को गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश किया, जहां से उन्हें जेल भेज दिया गया. ओवैसी गुरुवार को मेरठ के किठौर में एक सभा को संबोधित करने के बाद गाजियाबाद लौट रहे थे, तभी पिलखुवा छिजारसी टोल टैक्स पार करते ही दो युवकों ने कथित रूप से सांसद के काफिले पर गोलीबारी की.

आरोपी सचिन बनना चाहता था बड़ा नेता

पुलिस के मुताबिक ने ओवैसी पर हमले के आरोपी सचिन से पूछताछ में कई चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं. पुलिस के मुताबिक ओवैसी पर हमले का मास्टरमाइंड माना जा रहा सचिन बड़ा नेता बनना चाहता था और असदुद्दीन ओवैसी के स्पीच से बेहद गुस्से में रहता था. स्पीच से नाराजगी की वजह से उसने ओवैसी की हत्या की साज़िश को अपने करीबी दोस्त शुभम के साथ मिलकर रची.

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FIR में बताया गया है कि सचिन ने हथियार का इतंजाम करने के लिए मेरठ में रहने वाले दोस्त आलिम को फोन किया. इसमें बताया गया है, ‘जब मैंने उससे (आलिम से) हथियार लिया, तो उसने मुझसे पूछा क्या करना है हथियार का, तो मैंने उसे बताया कि मुझे मर्डर करना है. हथियार लेने के बाद मैने पूरी प्लानिंग की, लेकिन ओवैसी पर जब फायरिंग करने लगा तो वो नीचे की ओर झुक गए, फिर मैंने नीचे की तरफ फायर किया. मुझे लगा की उनको गोली लग चुकी है. उसके बाद मैं वहां से भाग गया.’

FIR में जानकारी दी गई है कि आरोपी सचिन ने बताया की ओवैसी पर हमले की साज़िश कई दिनों से रची जा रही थी. सचिन लगातार सोशल मीडिया के जरिए ओवैसी की लोकेशन देख रहा था. सोशल मीडिया से पता चलता जाता था की आज ओवैसी कहां पर सभा करने वाले हैं.

इसमें बताया गया है, ‘मैं उनकी कई सभा में गया था लेकिन भीड़ ज्यादा होने के कारण हमला नहीं कर पाया. फिर मुझे पता लगा की वो मेरठ में उम्मीदवार आरिफ के प्रचार में आने वाले हैं. मैं फिर मेरठ पहुंचा तो वहां भी भीड़ होने के कारण प्लान चेंज कर दिया. फिर पता चला की अब वो यहां से दिल्ली की ओर जाएंगे. मैं तभी उनके पहुंचने से पहले ही पिलखुआ टोल पहुंच गया और उनके आते ही उनकी कार पर फायरिंग करना शुरू कर दिया.’

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आपको बता दें कि ओवैसी को सरकार ने केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के कमांडो द्वारा ‘जेड’ श्रेणी की सुरक्षा मुहैया कराने का फैसला किया था. तब असदुद्दीन ओवैसी ने कहा था कि वह ‘जेड’ श्रेणी की सुरक्षा नहीं लेंगे. न्यूज एजेंसी ANI के मुताबिक, ओवैसी ने कहा है, ”मैं मौत से नहीं डरता. मुझे जेड श्रेणी की सुरक्षा नहीं चाहिए, मैं इसे अस्वीकार करता हूं. मुझे ‘ए’ श्रेणी का नागरिक बना दो. मैं चुप नहीं रहूंगा. कृपया न्याय करें…उन पर (हमलावरों पर) यूएपीए लगाएं.”

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