गृर्भगृह में जाते ही बदल गई... राम लाल की मूर्ति को लेकर अरुण योगीराज ने किया चौंकाने वाला खुलासा

यूपी तक

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Ayodhya Ram Mandir : अयोध्‍या में राम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा 22 जनवरी को हुई. जिसके बाद मंदिर के अंदर स्थापित की भगवान राम की मूर्ति की बहुत चर्चा हो रही है.  इसे बनाने वाले मूर्तिकार अरुण योगीराज की हर कोई तारीफ कर रहा है. राम भगवान की मूर्ति बनाने के बाद उनकी फैन फॉलोइंग भी बढ़ गई है. वहीं यूपीतक से बात करते हुए योगीराज ने राम लाल की मूर्ति को लेकर एक बड़ा खुलासा किया है. 

रामलला को लेकर चौंकाने वाला खुलासा 

अरुण योगीराज ने बताा कि ये कार्य उन्होंने खुद नहीं किया भगवान ने उनसे करवाया है. योगीराज की मानें तो जब मूर्ति की प्राण-प्रतिष्ठा हुई तो उन्हें लगा ही नहीं कि वो मूर्ति उनके द्वारा बनाई गई है. उसके हाव-भाव बदल चुके थे. इस बारे में उन्होंने लोगों से कहा भी कि उन्हें नहीं विश्वास हो रहा मूर्ति उनके द्वारा बनाई गई है. उन्होंने माना कि अगर वो कोशिश भी करें तो दोबारा इस तरह का विग्रह कभी नहीं बना सकते.

 

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गर्भगृह में जाते ही बदल गई...

योगीराज ने कहा कि, 'जब मैंने मूर्ति बनाई तब वो अलग थी. गर्भगृह में जाने के बाद और प्राण-प्रतिष्ठा के बाद वो अलग हो गई. मैंने 10 दिन गर्भगृह में बिताए. एक दिन जब मैं बैठा था मुझे अंदर से लगा ये तो मेरा काम है ही नहीं. मैं उन्हें पहचान नहीं पाया. अंदर जाते ही उनकी आभा बदल गई. मैं उसे अब दोबारा नहीं बना सकता, जहाँ तक छोटे-छोटे विग्रह बनाने की बात है वो बाद में सोचूँगा.' 

मूर्ति को बनाने में लगे 7 महीने

उन्होंने आगे बताया कि अरुण योगीराज कहते हैं कि मुझे बहुत बड़ी जिम्मेदारी दी गई थी. 7 महीने से मूर्ति को तराशने के काम में लगे थे. दिन-रात सिर्फ यही सोचते थे कि देश को भगवान के दर्शन कैसे करवाएंगे. सबसे पहले हमने पांच साल के बच्चों की जानकारी जुटाई. पांच साल के बच्चे के अंदर राम भी ढूंढने की चुनौती थी. आज पूरी दुनिया खुश है तो हमें बहुत आनंदित महसूस हो रहा है. रामलला सारे देश के हैं. रामलला पर देश की जनता का प्यार देखने को मिल रहा है.
 

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