वरिष्ठ नेता कपिल सिब्बल ने बुधवार को लखनऊ में समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव की मौजूदगी में राज्यसभा चुनाव के लिए नामांकन दाखिल किया. इस दौरान एसपी के वरिष्ठ नेता और अखिलेश यादव के चाचा रामगोपाल यादव भी मौजूद रहे.
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नामांकन दाखिल करने के बाद सिब्बल ने मीडिया से बातचीत में कहा, “मैंने निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में राज्यसभा के लिए नामांकन भरा है. मैं अखिलेश यादव का आभारी हूं कि उन्होंने मेरा समर्थन किया. मैं आजम खान के प्रति भी आभार प्रकट करता हूं. मैंने 16 मई को कांग्रेस से इस्तीफा दे दिया था.”
उन्होंने कहा, “मैं समझता हूं कि जब एक निर्दलीय की आवाज उठेगी तो लोगों को ऐसा लगेगा कि वे किसी पार्टी से नहीं जुड़े हुए हैं. हम विपक्ष में रहकर गठबंधन बनाना चाहते हैं ताकि हम मोदी सरकार का विरोध करें. हम चाहते हैं कि 2024 में ऐसा माहौल बने कि मोदी सरकार की जो खामियां हैं, उसे जनता तक पहुंचाया जा सकें. मैं इसका प्रयास करूंगा.”
न्यूज एजेंसी एएनआई को दिए बयान में एसपी चीफ ने कहा,
समाजवादी पार्टी की तरफ से वरिष्ठ नेता कपिल सिब्बल को राज्यसभा की सदस्यता के लिए नामंकन किया गया. वे समाजवादी पार्टी के समर्थन से राज्यसभा जा रहे हैं. पहला नामंकन हुआ है. राज्यसभा के लिए दो अन्य लोगों के नाम बहुत जल्द घोषित हो जाएंगे.”
अखिलेश यादव
क्या सिब्बल के जरिए अखिलेश एक तीर से लगा रहे दो निशाने?
कपिल सिब्बल ने, भ्रष्टाचार तथा अनेक अन्य आरोपों में लगभग 27 महीने तक सीतापुर जेल में बंद रहे सपा के वरिष्ठ नेता और विधायक आजम खान को उच्चतम न्यायालय से जमानत दिलवाने में उनके वकील के तौर पर महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी. खान अपने प्रति कथित बेरुखी को लेकर एसपी नेतृत्व से नाराज हैं. माना जा रहा है कि सिब्बल को समर्थन देकर इस नाराजगी को दूर करने की कोशिश की गई है
एसपी के कोटे और और कौन जा सकता है राज्यसभा?
पार्टी सूत्रों का कहना है कि अखिलेश यादव का मानना है कि एक मुस्लिम नेता को भी राज्यसभा भेजा जाना चाहिए. इस बात का पता चलते ही कई दावेदार सामने आ गए हैं. इनमें इमरान मसूद, सलीम शेरवानी और जावेद अली का नाम शामिल है. मगर इस बात की संभावना ज्यादा है कि पार्टी जावेद अली को राज्यसभा भेजे. इसके पीछे यह कारण बताया जा रहा है कि जावेद अली पार्टी के वरिष्ठ नेता और अखिलेश यादव के चाचा रामगोपाल यादव के बेहद करीबी मानें जाते हैं.
वहीं, तीसरे सांसद के तौर पर पार्टी एक पिछड़े नेता को राज्यसभा भेजने का मन बना रही है. इसलिए इसके लिए सबसे आगे डिंपल यादव का नाम आ रहा है. साथ ही पार्टी अगर स्वामी प्रसाद मौर्य को राज्यसभा भेज दे, तो इसमें भी कोई आश्चर्यजनक बता नहीं होगी.
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