UP इलेक्शन 2022: चुनाव खर्च में नाटक-नौटंकी, आल्हा, बिरहा सब होगा शामिल, रेट फिक्स
जनवरी, 2022 की शुरुआत में निर्वाचन आयोग ने उत्तर प्रदेश समेत अन्य राज्यों के विधानसभा चुनावों के लिए खर्च की सीमा 28 लाख रुपये से…
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जनवरी, 2022 की शुरुआत में निर्वाचन आयोग ने उत्तर प्रदेश समेत अन्य राज्यों के विधानसभा चुनावों के लिए खर्च की सीमा 28 लाख रुपये से बढ़ाकर 40 लाख रुपये कर दी है. अब उन खर्चों का ब्योरा यानी किस मद में कितनी तक धनराशि खर्च की जा सकती है या खर्च के ब्यौरे में दिखाई जा सकती है, इसकी पूरी सूची जारी कर दी गई है.
ये खर्च महंगाई बढ़ने के साथ-साथ वर्चुअल मोड में प्रचार करने, डिजिटल और सोशल मीडिया पर होने वाले प्रचार अभियान के अतिरिक्त खर्च को ध्यान में रखते हुए बढ़ाया गया है. अब आयोग और प्रचार में लगे उम्मीदवारों के लिए चुनौती है कि वो इन मदों में खर्चा कैसे दिखाएंगे और आयोग के उड़नदस्ते उन पर कैसे अपनी पैनी निगाह रखेंगे.
चुनाव सभाओं में उम्मीदवार लोक गायकों के जरिए प्रचार करवाना चाहें तो लोकगीत, बिरहा, कव्वालियां या आल्हा गाने वाले लोक गायकों को साढ़े पांच हजार रुपये की दिहाड़ी के हिसाब से भुगतान करना होगा. कठपुतली, जादू और खेल तमाशों के जरिए एक्चुअल या वर्चुअल मोड से चुनाव प्रचार करने के लिए इन कलाकारों को 2500 रुपये प्रतिदिन के दर से अंटी ढीली करनी होगी.
राजनीतिक लघु नाटिका, नृत्य यानी रंगमंच के जरिए उम्मीदवार के समर्थन में चुनाव प्रचार कर माहौल बनाने वाले कलाकार दलों को छह हजार रुपये, बड़े सांस्कृतिक दलों को 8000 रुपये की दर से भुगतान करना या खर्चे में दिखा सकते हैं.
चुनाव प्रचार के दौरान राजनीतिक नाटक-नौटंकी, भांड मिरासी दल को 3500 रुपये रोजाना, ढोल खंजरी दल को हजार रुपये और अंगरेजी बैंड बाजा पार्टी को 3500 रुपये तक रोजाना का भुगतान किया जा सकता है. इससे ज्यादा नहीं, लेकिन ऐसे आयोजन करने के लिए इस बाबत चुनाव अधिकारी से पहले लिखित मंजूरी लेनी होगी. यानी प्रशासन तय करेगा कि कोरोना संक्रमण के संकटकाल में कहां तक इजाजत दी जा सकती है.
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वैसे तो सूची में टेंट, कुर्सी, टेबल, पानी पीने के लिए सिंगल यूज के ग्लास, प्लेट चम्मच सबके भाव तय किए गए हैं. यानी तय दर के मुताबिक प्रशासन से इजाजत लेकर की गई सभाओं के लिए दरी बारह रुपये और कुर्सी सात रुपये प्रति की दर से मंगाई जा सकती है. दर्जन भर टोपियों पर खर्च 70 रुपये से अधिक नहीं किया जा सकेगा. प्रचार के लिए अनगिनत कार्यकर्ता नहीं जा पाएंगे.
चुनाव प्रचार में इस्तेमाल होने वाले लाउडस्पीकर का किराया 1900 रुपये प्रतिदिन के हिसाब से प्रत्याशी के खर्च में जोड़ा जाएगा. होटल में रुकने के लिए कमरे का किराया 1100 से 1800 रुपये तक होगा. जेनरेटर का खर्च 506 रुपये प्रतिदिन, बाल्टी 4 रुपये प्रति नग, ट्यूबलाइट 60 रुपये, खाना 120 रुपये प्रति व्यक्ति, कोल्डड्रिंक 90 रुपये प्रति दो लीटर और बैज-बिल्ला 600 रुपये सैकड़ा के हिसाब से खर्च में जोड़ा जाएगा.
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