ऑपरेशन 'कमलम' के चर्चाओं बीच जंयत चौधरी की पार्टी ने पोस्ट की गुलाब वाली तस्वीर, जानें क्या है इसके मायने

रजत कुमार

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Uttar Pradesh News : उत्तर प्रदेश के सियासत में एक बार फिर जबरदस्त हलचल मची हुई है. यह हलचल विपक्षी दलों के गठबंधन समूह 'इंडिया' गठबंधन से जयंत चौधरी के दूर जाने को लेकर मची है. पश्चिमी उत्तर प्रदेश को देखते हुए बीजेपी ने आरएलडी को ऑफर दिया है. बीजेपी ने जयंत चौधरी (Jayant Chaudhary) की आरएलडी को 4 लोकसभा सीटों का ऑफर दिया है. ऐसी भी खबरें हैं कि समाजवादी पार्टी की ओर से राष्ट्रीय लोकदल को दी गईं सात लोकसभा की सीटों पर सहमति नहीं बनी है.  वहीं सियासी उठापटक की इन खबरों के बीच ऱाष्ट्रीय लोकदल ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर ऐसी तस्वीर शेयर की जो चर्चा का विषय बन गई है. 

सामने आई गुलाब वाली तस्वीर

ऱाष्ट्रीय लोकदल  ने अपने X अकाउंट से पार्टी के चुनाव चिन्ह नल के उपर गुलाब की तस्वीर शेयर की है और लिखा है कि, 'गुलाबों वाली ये तस्वीर राष्ट्रीय लोकदल और चौधरी साहब के प्रति आप सबके प्रेम का प्रतीक है.' इस तस्वीर में जयंत चौधरी भी नजर आ रहे हैं.  बता दें कि वर्तमान में आरएलडी का गठबंधन समाजवादी पार्टी के साथ है. सपा ने पहले ही आरएलडी को 7 सीटें देने का ऐलान कर रखा है.

भाजपा से क्या मिला ऑफर!

मुजफ्फरनगर में प्रत्याशी को लेकर सपा और आरएलडी में खींचतान मची है.  समाजवादी पार्टी चाहती है कि हरेंद्र मलिक को वहां से चुनाव लड़ाया जाए. सपा के हरेंद्र मलिक आरएलडी के टिकट पर लड़े. जबकि आरएलडी के कई स्थानीय नेता इसके विरोध में है और नहीं चाहते की हरेंद्र मलिक को मुजफ्फरनगर की सीट दी जाए. गौरतलब है कि करीब पखवाड़े भर पहले जयंत चौधरी और अखिलेश यादव की लखनऊ में हुई मुलाकात के बाद दोनों के बीच सात सीटों पर डील हो गई थी. इन 7 सीटों में 5  बागपत, मुजफ्फरनगर, कैराना, मथुरा, हाथरस तो तय हैं लेकिन दो सीटों पर अभी भी नाम को लेकर संशय बना हुआ है. अभी यह तय नहीं हो पा रहा है कि मेरठ, बिजनौर, अमरोहा, नगीना और फतेहपुर सीकरी में से कौन सी और 2 सीट आरएलडी को दी जाएगी.

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गौरतलब है कि 2014 और 2019 के लोकसभा चुनाव में सपा-बसपा और कांग्रेस के गठबंधन में आरएलडी एक भी सीट नहीं निकाल पाए. फिर इस बार तो सिर्फ सपा का साथ मिला है. सपा के साथ में जीत को लेकर जयंत चौधरी खुद भी पुख्ता रूप से कुछ नहीं कह पा रहे हैं.
 

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