फर्रुखाबाद जेल में बवाल के दौरान मृत कैदी की पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में गोली लगने की पुष्टि
फर्रुखाबाद जिला जेल में रविवार को हुई हिंसा के दौरान संदिग्ध परिस्थितियों में मृत एक कैदी के शव के पोस्टमॉर्टम में उसकी मौत गोली लगने…
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फर्रुखाबाद जिला जेल में रविवार को हुई हिंसा के दौरान संदिग्ध परिस्थितियों में मृत एक कैदी के शव के पोस्टमॉर्टम में उसकी मौत गोली लगने के कारण होने की पुष्टि हुई है.
जिलाधिकारी संजय कुमार सिंह ने सोमवार को ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि उपद्रव के दौरान बंदी शिवम की मौत के बाद पुलिस ने उसके शव का पोस्टमॉर्टम कराया. रिपोर्ट में शिवम को गोली लगने की पुष्टि हुई है. गोली उसके पेट से बरामद हुई है. हालांकि यह गोली कितने बोर की है, यह खुलासा अभी नहीं हो सका है.
आपको बता दें कि मौत से पहले शिवम ने सोशल मीडिया पर वायरल एक वीडियो में दावा किया था कि बैरक का गेट बंद करते समय जेलर ने उसे गोली मारी थी. उसने दो डिप्टी जेलर पर भी गोली मारने का आरोप लगाया था. हालांकि, जेल अधिकारियों ने गोली मारने की बात को सिरे से खारिज किया था.
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पुलिस अधीक्षक अशोक कुमार मीणा ने कहा था कि शिवम की मौत गोली लगने से नहीं बल्कि बीमारियों से हुई है. राजेपुर क्षेत्र के जैनापुर गांव का निवासी शिवम चोरी के एक मामले में जेल में बंद था.
क्या है मामला?
जेल सूत्रों के अनुसार, जिला जेल में उम्रकैद के सजायाफ्ता कैदी संदीप यादव की डेंगू के कारण सैफई स्थित मेडिकल कॉलेज में छह नवंबर को मौत होने की खबर मिलने पर बंदियों ने बवाल शुरू कर दिया. रविवार सुबह जिला जेल को बंदियों ने अपने कब्जे में ले लिया और बंदी रक्षकों पर पथराव शुरू कर दिया. कई घंटों तक चले इस उपद्रव के दौरान करीब 30 पुलिसकर्मी घायल हो गए. इसके बाद व्यापक पुलिस बल मौके पर बुलाया गया, लेकिन बंदी जेल के भीतर हंगामा करते रहे. बंदियों ने जेल के अंदर आगजनी भी की. मौके पर पहुंचे अग्निशमन दल ने आग पर काबू पाया. इस हिंसा के दौरान शिवम नामक कैदी की संदिग्ध हालात में मौत हो गई.
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जेल के अधिकारियों ने बताया कि पुलिस ने शिवम के शव को पहले लोहिया अस्पताल ले जाकर उसका एक्सरे कराया. इसके बाद शव पोस्टमॉर्टम के लिए भेजा गया. आधी रात को तीन चिकित्सकों डॉक्टर शिवप्रकाश, डॉक्टर अनुराग वर्मा और डॉक्टर योगेन्द्र सिंह के पैनल ने शव का पोस्टमॉर्टम किया. इस दौरान मृतक के पेट में गोली मिली.
बता दें कि कानपुर मण्डल के आयुक्त डॉक्टर राजशेखर रविवार देर शाम कानपुर के पुलिस महानिरीक्षक प्रशांत कुमार के साथ फर्रुखाबाद जिला जेल पहुंचे. उन्होंने उप महानिरीक्षक-कारागार वी.पी. त्रिपाठी, जिलाधिकारी संजय कुमार सिंह और पुलिस अधीक्षक अशोक कुमार मीणा के साथ जेल के भीतर तकरीबन पांच घंटे तक पड़ताल की.
डॉक्टर राजशेखर ने बताया,
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“शासन को समय-समय पर पूरे मामले से अवगत कराया जा रहा है. वरिष्ठ अधिकारी जेल में मौके पर हैं. एक बंदी की मौत हुई है. उसकी पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट और मामले की जांच रिपोर्ट आने पर आवश्यक कार्रवाई की जाएगी.”
डॉक्टर राजशेखर, कानपुर मण्डल के आयुक्त
इस बीच शिवम के शव का पोस्टमॉर्टम होने के बाद बड़ी संख्या में पुलिस बल उसके शव को लेकर जैनापुर स्थित उसके घर पहुंचा. हालात के मद्देनजर उसके गांव को छावनी में तब्दील कर दिया गया है. जेल महानिदेशक आनन्द कुमार ने बताया, ‘उप महानिरीक्षक-कारागार वी.पी. त्रिपाठी मामले की प्रशासनिक जांच कर रहे हैं. न्यायिक जांच भी होगी क्योंकि जेल में इस घटना में एक कैदी की मौत हो गई है.’
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